क्या योगी सरकार के प्रयासों से देश-विदेश में रोजगार के अवसर बढ़ रहे हैं?

सारांश
Key Takeaways
- उत्तर प्रदेश रोजगार मिशन का उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय अवसर प्रदान करना है।
- 5,978 श्रमिकों को इज़रायल में रोजगार मिला है।
- रोजगार मेलों में 13,64,501 अभ्यर्थियों को नौकरी मिली है।
- सेवामित्र योजना से कुशल श्रमिकों को उपभोक्ताओं से जोड़ा जा रहा है।
- युवाओं को करियर काउंसलिंग कार्यक्रमों से मार्गदर्शन मिल रहा है।
लखनऊ, 18 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने राज्य के युवाओं को रोजगार प्रदान करने के लिए ऐतिहासिक पहल की है। श्रम एवं सेवायोजन विभाग ने जिस दूरदर्शिता से रोजगार सृजन की बहुआयामी रणनीति अपनाई है, वह अब केवल स्थानीय नौकरियों तक सीमित नहीं है। इस दिशा में उत्तर प्रदेश रोजगार मिशन की शुरुआत की गई है, जिसका उद्देश्य युवाओं को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अवसर उपलब्ध कराना है।
इस मिशन के मुख्य उद्देश्यों में राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विभिन्न रोजगार के अवसरों की पहचान करना, स्किल गैप का अध्ययन करना, रोजगार कार्यक्रम संचालित करना, करियर काउंसलिंग प्रदान करना और राज्य के रोजगार के इच्छुक अभ्यर्थियों को पोस्ट प्लेसमेंट सपोर्ट देना शामिल है। यह पहल युवाओं को विदेश जाने का सुरक्षित और कानूनी विकल्प प्रदान करने में सहायक है।
प्रदेश सरकार ने जापान, जर्मनी, क्रोएशिया और संयुक्त अरब अमीरात जैसे देशों से नर्सों, केयर गिवर्स, ड्राइवरों और निर्माण श्रमिकों की मांग प्राप्त की है, जिसमें लगभग 1.50 लाख रुपये तक का वेतन मिलेगा। इस दिशा में श्रम विभाग तेजी से कार्य कर रहा है ताकि उत्तर प्रदेश के कुशल श्रमिकों को अंतरराष्ट्रीय बाजार में बेहतर वेतनमान वाली नौकरियां मिल सकें।
इसके अतिरिक्त, योगी सरकार की एक अन्य महत्वपूर्ण उपलब्धि रोजगार मेलों के माध्यम से निजी क्षेत्र में रोजगार उपलब्ध कराना है। 1 अप्रैल 2017 से 30 अप्रैल 2025 तक आयोजित 10,830 रोजगार मेलों के माध्यम से 13,64,501 अभ्यर्थियों को नौकरियां मिली हैं। इन मेलों ने युवाओं को मौके पर ही चयनित करने का अवसर दिया है।
इस मिशन के तहत अब तक 5,978 श्रमिकों को इज़रायल में रोजगार मिल चुका है। इसके अलावा, 1,383 और निर्माण श्रमिकों को भेजने की प्रक्रिया जारी है, जिससे राज्य की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
योगी सरकार का मानना है कि केवल नौकरी उपलब्ध कराना ही पर्याप्त नहीं है, बल्कि युवाओं को सही दिशा में मार्गदर्शन भी आवश्यक है। इसी के तहत 24,493 करियर काउंसलिंग कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं।
स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध कराने के लिए योगी सरकार ने सेवामित्र योजना की शुरुआत की है। इस योजना के तहत कुशल कामगारों को सीधे उपभोक्ताओं से जोड़ने के लिए एक ऑनलाइन पोर्टल विकसित किया गया है।