क्या विटामिन डी अवशोषण के लिए आवश्यक जीन कैंसर उपचार में मदद कर सकता है?

Click to start listening
क्या विटामिन डी अवशोषण के लिए आवश्यक जीन कैंसर उपचार में मदद कर सकता है?

सारांश

वैज्ञानिकों ने एक ऐसे महत्वपूर्ण जीन की पहचान की है जो विटामिन डी के अवशोषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह अध्ययन कैंसर और ऑटोइम्यून बीमारियों के उपचार में नई संभावनाएँ प्रस्तुत करता है, जो भविष्य के चिकित्सा अनुसंधान में एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हो सकता है।

Key Takeaways

  • एसडीआर42ई1 जीन विटामिन डी के अवशोषण में महत्वपूर्ण है।
  • यह जीन कैंसर कोशिकाओं की वृद्धि को रोक सकता है।
  • इससे कैंसर और ऑटोइम्यून बीमारियों के उपचार में नई संभावनाएँ खुलती हैं।
  • अध्ययन में सीआरआईएसपीआर/सीएएस9 तकनीक का उपयोग किया गया।
  • अधिक अनुसंधान आवश्यक है।

नई दिल्ली, 18 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। वैज्ञानिकों ने एक महत्वपूर्ण जीन की पहचान की है जो विटामिन डी के अवशोषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और यह कैंसर और ऑटोइम्यून बीमारियों के उपचार में सहायक हो सकता है।

इस जीन का नाम एसडीआर42ई1 है, जो आंत से विटामिन डी को अवशोषित करने और इसे शरीर में उपयोगी बनाने में मदद करता है। यह खोज व्यक्तिगत चिकित्सा और कैंसर उपचार के लिए नई संभावनाएँ प्रस्तुत कर सकती है।

कतर के हमद बिन खलीफा यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर डॉ. जॉर्जेस नेमर ने बताया, “हमने देखा कि एसडीआर42ई1 जीन को रोका या निष्क्रिय किया जाए तो कैंसर कोशिकाओं की वृद्धि को प्रभावी ढंग से रोका जा सकता है।”

पहले के अध्ययनों में यह पता चला था कि क्रोमोसोम 16 पर मौजूद एसडीआर42ई1 जीन में एक विशिष्ट उत्परिवर्तन के कारण विटामिन डी की कमी हो सकती है। यह उत्परिवर्तन जीन के प्रोटीन को छोटा और निष्क्रिय कर देता है।

‘फ्रंटियर्स इन एंडोक्रिनोलॉजी’ जर्नल में प्रकाशित अध्ययन में वैज्ञानिकों ने सीआरआईएसपीआर/सीएएस9 जीन संपादन तकनीक का उपयोग कर कोलोरेक्टल कैंसर के रोगी की एचसीटी116 कोशिकाओं में एसडीआर42ई1 जीन को निष्क्रिय किया। सामान्यतः इन कोशिकाओं में यह जीन बहुत सक्रिय होता है, जो उनकी जीवन शक्ति के लिए आवश्यक है। लेकिन जब इसे निष्क्रिय किया गया, तो कैंसर कोशिकाओं की जीवन शक्ति 53 प्रतिशत तक कम हो गई। यह दर्शाता है कि इस जीन को रोकने से कैंसर कोशिकाएँ नष्ट हो सकती हैं, जबकि आसपास की स्वस्थ कोशिकाएँ सुरक्षित रहती हैं।

जॉर्डन की मिडिल ईस्ट यूनिवर्सिटी की प्रोफेसर डॉ. नघम नफीज हेंदी ने कहा, “हमारे निष्कर्ष कैंसर के उपचार में नई संभावनाओं के द्वार खोलते हैं। हालाँकि, इसे चिकित्सीय रूप से लागू करने के लिए अभी और अनुसंधान की आवश्यकता है।”

डॉ. नेमर ने बताया कि चूंकि एसडीआर42ई1 विटामिन डी के मेटाबॉलिज्म में शामिल है, इसे उन बीमारियों के उपचार में भी उपयोग किया जा सकता है जहाँ विटामिन डी की नियामक भूमिका होती है।

हालांकि, वैज्ञानिकों ने चेतावनी दी है कि एसडीआर42ई1 के विटामिन डी संतुलन पर दीर्घकालिक प्रभावों को समझने के लिए और अध्ययन आवश्यक हैं। यह खोज कैंसर और अन्य बीमारियों के उपचार में एक नई आशा जगा सकती है।

Point of View

इससे जुड़े सभी पहलुओं को समझने के लिए और अधिक अनुसंधान की आवश्यकता है। इस खोज से कैंसर और अन्य बीमारियों के उपचार में नई संभावनाएँ खुलती हैं।
NationPress
18/07/2025

Frequently Asked Questions

एसडीआर42ई1 जीन का क्या महत्व है?
एसडीआर42ई1 जीन विटामिन डी के अवशोषण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और कैंसर कोशिकाओं की वृद्धि को रोकने में सहायक हो सकता है।
क्या यह खोज कैंसर के उपचार में मदद कर सकती है?
हाँ, यह खोज कैंसर के उपचार में नई संभावनाएँ प्रस्तुत करती है, हालांकि इसके लिए और अनुसंधान की आवश्यकता है।
क्या विटामिन डी की कमी से भी समस्या हो सकती है?
हाँ, एसडीआर42ई1 जीन में उत्परिवर्तन के कारण विटामिन डी की कमी हो सकती है, जो अन्य स्वास्थ्य समस्याएँ उत्पन्न कर सकती हैं।