क्या भारत-पाकिस्तान के बीच मैच नहीं होना चाहिए? : मनोज तिवारी

Click to start listening
क्या भारत-पाकिस्तान के बीच मैच नहीं होना चाहिए? : मनोज तिवारी

सारांश

भारत और पाकिस्तान के बीच होने वाले आगामी एशिया कप मैच पर मनोज तिवारी ने अपनी चिंताएं व्यक्त की हैं। क्या यह मैच खेला जाना चाहिए या नहीं? जानिए उनके विचारों के पीछे का कारण और इस मुद्दे पर अन्य नेताओं की राय।

Key Takeaways

  • मनोज तिवारी ने भारत-पाकिस्तान मैच पर अपनी चिंताएं व्यक्त की हैं।
  • आतंकी घटनाओं के बाद खेल का आयोजन उचित नहीं है।
  • खिलाड़ी बीसीसीआई के निर्देशों का पालन करते हैं।
  • राजस्व के लिए मैच का आयोजन नहीं होना चाहिए।
  • त्रिकोणीय श्रृंखला का विकल्प मौजूद है।

कोलकाता, 29 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। एशिया कप 2025 का कार्यक्रम अब सामने आ चुका है। 14 सितंबर को भारत और पाकिस्तान के बीच एक मैच आयोजित होने वाला है। यह पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पहली बार होगा जब दोनों टीमें आमने-सामने होंगी। भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व खिलाड़ी मनोज तिवारी इस मैच के बारे में नकारात्मक विचार रखते हैं।

राष्ट्र प्रेस के साथ बातचीत के दौरान, मनोज तिवारी ने कहा, "एक भारतीय नागरिक और खिलाड़ी के नाते, मैं नहीं चाहता कि यह मैच हो। पहलगाम आतंकी हमले के बाद हमें पाकिस्तान के साथ खेलने का विचार भी नहीं करना चाहिए। निर्दोष लोगों की जान गई, संघर्ष हुआ, हमारे जवान शहीद हुए। इतना कुछ होने के बाद हम पाकिस्तान के साथ कैसे खेल सकते हैं?"

उन्होंने बताया कि यह पहली बार नहीं है जब ऐसा हुआ है। हर बार जब कोई आतंकी घटना होती है, निर्दोष लोग मारे जाते हैं। कुछ समय तक विरोध होता है, और फिर एशिया कप और आईसीसी टूर्नामेंट में भारत-पाकिस्तान का मुकाबला होता है। मैं यह नहीं चाहता कि भारतीय टीम पाकिस्तान के खिलाफ खेले। मेरे अनुसार, खेल जीवन से अधिक महत्वपूर्ण नहीं है।

तिवारी ने यह भी कहा कि खिलाड़ी भी पाकिस्तान के साथ खेलने में इच्छुक नहीं हैं, लेकिन अनुबंध के कारण सार्वजनिक रूप से कुछ नहीं कह सकते। खिलाड़ी बीसीसीआई के निर्देशों के अनुसार चलते हैं। बीसीसीआई को केंद्र सरकार से निर्देश मिलते हैं। भारत-पाकिस्तान के बीच मैच का निर्णय भी केंद्र सरकार की सहमति के बाद ही बीसीसीआई द्वारा लिया गया होगा।

एआईएमआईएम के नेता असदुद्दीन ओवैसी का कहना है कि जब हम पाकिस्तान के साथ व्यापार नहीं कर रहे हैं, पानी नहीं दे रहे हैं, तो मैच कैसे खेल सकते हैं। इस पर तिवारी ने कहा कि सभी लोग इस पर अपनी-अपनी राय रख रहे हैं। मैंने भी अपना पक्ष रखा। यदि मुझे निर्णय लेना होता, तो मैं इस मैच की अनुमति कभी नहीं देता। जीवन महत्वपूर्ण है। हम अपने शहीद जवानों की शहादत को इतनी जल्दी कैसे भूल सकते हैं और मैच खेल सकते हैं।

तिवारी ने कहा कि केवल राजस्व की दृष्टि से इस मैच को नहीं होना चाहिए। हम ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड या दक्षिण अफ्रीका के साथ त्रिकोणीय श्रृंखला खेल सकते हैं। इससे भी राजस्व प्राप्त होगा।

Point of View

हमें यह समझना होगा कि खेल और राजनीति के बीच का संबंध हमेशा जटिल होता है। मनोज तिवारी का दृष्टिकोण देश की भावनाओं को दर्शाता है। हमें अपने शहीदों की शहादत का सम्मान करना चाहिए और यह सुनिश्चित करना चाहिए कि खेल हमेशा हमारी राष्ट्रीय पहचान से ऊपर न हो।
NationPress
30/07/2025

Frequently Asked Questions

क्या मनोज तिवारी का कहना सही है?
मनोज तिवारी का कहना है कि खेल से अधिक महत्वपूर्ण है हमारे शहीदों की शहादत का सम्मान करना। यह एक संवेदनशील मुद्दा है।
भारत-पाकिस्तान के बीच मैच क्यों नहीं होना चाहिए?
आतंकी घटनाओं के कारण, मनोज तिवारी मानते हैं कि हमें पाकिस्तान के साथ खेलना नहीं चाहिए।
क्या खिलाड़ी इस मैच का विरोध कर रहे हैं?
मनोज तिवारी के अनुसार, खिलाड़ी भी इस मैच के खिलाफ हैं, लेकिन अनुबंध के कारण खुलकर नहीं बोल सकते।