क्या आपदा प्रबंधन, कानून व्यवस्था और जनसुविधाओं पर विशेष ध्यान दिया जाएगा? : सीएम धामी

सारांश
Key Takeaways
- आपदा प्रबंधन में तेजी लाने की आवश्यकता है।
- कानून व्यवस्था में सुधार के लिए सख्त कदम उठाए जाएंगे।
- जनसुविधाओं के लिए स्थानीय मजदूरों को प्राथमिकता दी जाएगी।
- चारधाम यात्रा को सुचारू रखने के लिए विशेष ध्यान दिया जाएगा।
- सड़कें जल्द गड्ढामुक्त की जाएंगी।
देहरादून, ८ सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को सीएम आवास में शासन और पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों तथा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े सभी जिलाधिकारियों को आपदा प्रबंधन, कानून व्यवस्था, पुनर्निर्माण कार्यों, पर्यटन एवं जनसुविधाओं से संबंधित विस्तृत दिशा-निर्देश प्रदान किए। सीएम धामी ने बताया कि सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता जनता को त्वरित राहत, सुरक्षा एवं सुविधाएं उपलब्ध कराना है।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि बरसात समाप्त होते ही मरम्मत और पुनर्निर्माण कार्यों के लिए प्रशासनिक मशीनरी सक्रिय मोड में कार्यरत रहे। वर्षाकाल के दौरान राहत सामग्री एवं ड्राई राशन की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। आपदा प्रभावितों के ठहरने, भोजन एवं अन्य आवश्यक सुविधाओं की व्यवस्था की जाए। फसलों, पेयजल लाइनों एवं सरकारी संपत्तियों को हुए नुकसान का त्वरित आकलन कर शासन को रिपोर्ट भेजी जाए। नदी-नालों के पास निर्माण की अनुमति पर प्रतिबंध सख्ती से लागू किया जाए। इन प्रतिबंधों का पालन न करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि आपदा प्रभावितों को मानक के अनुसार त्वरित सहायता राशि उपलब्ध कराई जाए। जिलाधिकारी समय-समय पर अस्पतालों का निरीक्षण करें और विभिन्न व्यवस्थाओं का आकलन करें। डेंगू, मलेरिया और अन्य जलजनित रोगों से बचाव के लिए अस्पतालों में सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। सभी जिलाधिकारी अपने-अपने जनपदों में स्वास्थ्य विभाग की शीघ्र बैठक करें।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि कानून व्यवस्था में बाधा डालने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाए। अनधिकृत आधार कार्ड, वोटर आईडी और कनेक्शन जारी करने वालों के खिलाफ नियमित कार्रवाई की जाए। बाहरी व्यक्तियों और संदिग्ध गतिविधियों पर लगातार निगरानी रखी जाए। सीमावर्ती क्षेत्रों में चेकिंग और सख्ती बढ़ाई जाए तथा संदिग्ध व्यक्तियों की पहचान कर कार्रवाई की जाए। गौवंश के संरक्षण के लिए प्रभावी कार्यवाही की जाए।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि बरसात के बाद पुनर्निर्माण एवं इंफ्रास्ट्रक्चर कार्यों में तेजी लाई जाए। सरकारी निर्माण कार्यों में स्थानीय मजदूरों को प्राथमिकता दी जाए। गांवों और शहरी क्षेत्रों में स्ट्रीट लाइट व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि मानसून के बाद चारधाम यात्रा सतर्कता के साथ सुचारू रूप से संचालित हो। श्रद्धालुओं को खराब मौसम की जानकारी समय पर मिल जाए।
मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि प्रत्येक जनपद की मुख्यमंत्री घोषणाओं एवं चालू कार्यों की रिपोर्ट १५ दिनों में मुख्यमंत्री कार्यालय को भेजी जाए। ग्राम स्तर पर चौपाल कार्यक्रम, जिलास्तरीय जनसुनवाई, तहसील दिवस, बीडीसी की बैठकों एवं बहुद्देशीय शिविरों का नियमित आयोजन किया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के जन्मदिवस पर १७ सितंबर से गांधी जयंती तक सेवा पखवाड़ा कार्यक्रम की विस्तृत तैयारी की जाए। सेवा, स्वच्छता और जनसुविधा की थीम पर कार्य किए जाएं। जनपदों में नियमित स्वच्छता अभियान चलाने के साथ प्रत्येक सप्ताह एक दिन स्वच्छता कार्यक्रम में जिलाधिकारी स्वयं प्रतिभाग करें। क्षतिग्रस्त सड़कों को जल्द सुचारू करने के साथ ही अभियान के तहत सड़कों को गड्ढामुक्त किया जाए।