क्या भारत की जीडीपी वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 6.7 प्रतिशत रह सकती है?

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क्या भारत की जीडीपी वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 6.7 प्रतिशत रह सकती है?

सारांश

क्या भारत की जीडीपी वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 6.7 प्रतिशत पर पहुंच सकती है? जानें रिपोर्ट में क्या कहा गया है और इसके पीछे के कारक क्या हैं।

Key Takeaways

  • भारत की जीडीपी वृद्धि दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान।
  • ग्रॉस वैल्यू एडेड (जीवीए) की वृद्धि दर 6.4 प्रतिशत।
  • सर्विसेज जीवीए की वृद्धि दर 8.3 प्रतिशत तक जा सकती है।
  • राज्य सरकारों का गैर-ब्याज खर्च 10.7 प्रतिशत बढ़ सकता है।
  • केंद्र सरकार के गैर-ब्याज राजस्व में सुधार की उम्मीद।

नई दिल्ली, 19 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। भारत की जीडीपी वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में आरबीआई मौद्रिक नीति कमेटी (एमपीसी) के अनुमान 6.5 प्रतिशत से अधिक 6.7 प्रतिशत रहने की संभावना है। यह जानकारी मंगलवार को प्रकाशित एक रिपोर्ट में साझा की गई।

क्रेडिट रेटिंग एजेंसी की रिपोर्ट में उल्लेख किया गया कि वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में ग्रॉस वैल्यू एडेड (जीवीए) की वृद्धि दर 6.4 प्रतिशत रह सकती है।

रिपोर्ट के अनुसार, मौद्रिक नीति में नरमी और आने वाले समय में जीएसटी की दरों में कमी के कारण त्योहारी सीजन में शहरी मांग में सुधार देखने को मिल सकता है।

आईसीआरए में मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा, "हमने शुद्ध अप्रत्यक्ष करों में दोहरे अंकों की वृद्धि का अनुमान लगाया है, जिसे भारत सरकार के अप्रत्यक्ष करों में तेज वृद्धि से सहायता मिलेगी।"

नायर ने कहा, "मजबूत सरकारी पूंजीगत खर्च और राजस्व व्यय, कुछ भौगोलिक क्षेत्रों में अग्रिम निर्यात और बेहतर उपभोग के शुरुआती संकेतों के कारण वित्त वर्ष 2026 की पहली तिमाही में आर्थिक गतिविधि में विस्तार की गति 6.7 प्रतिशत रहने की उम्मीद है।"

आईसीआरए का मानना है कि सर्विसेज जीवीए की वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में बढ़कर आठ तिमाही के उच्चतम स्तर 8.3 प्रतिशत पर जा सकती है, जो कि वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में 7.3 प्रतिशत थी।

रिपोर्ट के अनुसार, 24 राज्य सरकारों का संयुक्त गैर-ब्याज खर्च वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में सालाना आधार पर 10.7 प्रतिशत बढ़ सकता है, जो कि वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में 7.2 प्रतिशत था।

इसी तरह, केंद्र सरकार के गैर-ब्याज राजस्व व्यय में भी सुधार होने की उम्मीद है, जो वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 6.9 प्रतिशत की दर से बढ़ सकता है, जबकि पिछली तिमाही में इसमें 6.1 प्रतिशत की गिरावट देखी गई थी।

Point of View

हमें यह देखना चाहिए कि भारत की जीडीपी वृद्धि दर में सुधार के संकेत केवल आंकड़ों तक ही सीमित नहीं हैं, बल्कि यह हमारे आर्थिक ढांचे की मजबूती का भी प्रतीक है। यह वृद्धि शहरी क्षेत्रों में मांग को बढ़ावा दे सकती है, जो कि हमारे विकास के लिए आवश्यक है।
NationPress
23/08/2025

Frequently Asked Questions

भारत की जीडीपी वृद्धि दर क्या है?
भारत की जीडीपी वृद्धि दर वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
इस वृद्धि के पीछे के मुख्य कारण क्या हैं?
मौद्रिक नीति में नरमी, जीएसटी दरों में कमी और शहरी मांग में सुधार इसके मुख्य कारण हैं।
क्या इस वृद्धि का असर शहरी मांग पर पड़ेगा?
हां, त्योहारी सीजन में शहरी मांग में सुधार की संभावना है।