क्या भारत में इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू, एक्सरसाइज मिलन 2026 और कॉन्क्लेव ऑफ चीफ्स का आयोजन होगा?
 
                                सारांश
Key Takeaways
- भारत 2026 में तीन प्रमुख अंतरराष्ट्रीय समुद्री आयोजनों की मेज़बानी करेगा।
- इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू में भारत के स्वदेशी नौसैनिक प्लेटफॉर्म शामिल होंगे।
- यह आयोजन महासागर नीति और समुद्री सुरक्षा के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
- विशाखापत्तनम इस आयोजन के लिए आदर्श स्थान है।
- इससे क्षेत्र में आर्थिक विकास की उम्मीद है।
नई दिल्ली, 31 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। भारत अगले वर्ष 2026 में तीन महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय समुद्री कार्यक्रमों की मेज़बानी करने जा रहा है, जिसमें इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू 2026, एक्सरसाइज मिलन 2026 और इंडियन ओशन नेवल सिंपोजियम कॉन्क्लेव ऑफ चीफ्स शामिल हैं। भारतीय नौसेना के अनुसार, यह पहला मौका है जब भारत इन तीनों प्रमुख अंतरराष्ट्रीय आयोजनों को एकसाथ आयोजित करने जा रहा है।
नौसेना का कहना है कि ये कार्यक्रम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 'महासागर' दृष्टिकोण का प्रतीक हैं। महासागर नीति का दायरा हिंद महासागर से आगे बढ़कर वैश्विक समुद्री सहयोग तक फैला है। इसका उद्देश्य स्थिरता, सामूहिक सुरक्षा और साझा समुद्री जिम्मेदारी को बढ़ावा देना है। इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू 2026 के तहत राष्ट्रपति समुद्र में फ्लीट रिव्यू करेंगी, जिसमें भारत के स्वदेशी नौसैनिक प्लेटफॉर्म जैसे आईएनएस विक्रांत (भारत का पहला स्वदेशी विमानवाहक पोत), विशाखापत्तनम श्रेणी के विध्वंसक, नीलगिरी श्रेणी के स्टेल्थ फ्रिगेट और अर्णाला श्रेणी के युद्धपोत शामिल होंगे।
इन जहाजों के साथ साथ मित्र देशों की नौसेनाएं, भारतीय तटरक्षक बल और मर्चेंट मरीन के जहाज भी शामिल होंगे। वहीं, नौसैनिक अभ्यास मिलन 2026 के दो चरण होंगे, जिनमें समुद्री और बंदरगाह चरण शामिल हैं। इस अभ्यास के दौरान पनडुब्बी रोधी युद्धाभ्यास, इंटरऑपरेबिलिटी, समुद्री जागरूकता, वायु रक्षा और खोज एवं बचाव अभियान आयोजित किए जाएंगे। इसके साथ ही आर.के. बीच, विशाखापत्तनम पर भव्य इंटरनेशनल सिटी परेड निकाली जाएगी, जिसमें विदेशी नौसेनाओं, भारतीय नौसेना, भारतीय सेना और वायुसेना की टुकड़ियां भाग लेंगी।
इंटरनेशनल मैरिटाइम सेमिनार में विश्व के समुद्री रणनीतिकार, रक्षा विशेषज्ञ, शिक्षाविद और उद्योग जगत के नेता शामिल होंगे। यहाँ समुद्री सहयोग, तकनीक और मानवीय सहायता जैसे मुद्दों पर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चर्चा होगी। इसके साथ इंडियन ओशन नेवल सिंपोजियम कॉन्क्लेव ऑफ चीफ्स के दौरान भारत दूसरी बार यानी 2025-2027 के लिए अध्यक्षता संभालेगा।
गौरतलब है कि इसमें 25 सदस्य देश, 9 पर्यवेक्षक देश और कई विशेष आमंत्रित राष्ट्रों के नौसेना प्रमुख शामिल होंगे। नौसेना के अनुसार, भारत की इंटरनेशनल फ्लीट रिव्यू परंपरा 2001 में मुंबई से शुरू हुई थी, जिसमें 20 देशों की नौसेनाओं ने भाग लिया। इसके बाद 2016 में विशाखापत्तनम में यह आयोजन और भी भव्य रहा।
नौसेना का मानना है कि विशाखापत्तनम अपनी बेहतरीन समुद्री अवसंरचना, रणनीतिक स्थिति और सांस्कृतिक विरासत के कारण इस आयोजन के लिए आदर्श स्थान है। भारतीय नौसेना, रक्षा मंत्रालय, गृह मंत्रालय, विदेश मंत्रालय, पर्यटन एवं संस्कृति मंत्रालय और आंध्र प्रदेश सरकार मिलकर इस आयोजन को सफल बनाएंगे। इससे क्षेत्र में पर्यटन, आतिथ्य और सेवा क्षेत्र में व्यापक आर्थिक लाभ की भी उम्मीद है।
 
                     
                                             
                                             
                                             
                                             
                             
                             
                             
                            