क्या बिहार में सम्राट चौधरी को गृह मंत्रालय का पद मिलना उचित है?
सारांश
Key Takeaways
- सम्राट चौधरी को गृह मंत्री बनाने का निर्णय बिहार की राजनीति में महत्वपूर्ण बदलाव ला सकता है।
- जीतन राम मांझी ने इसे राजहित में लिया गया निर्णय बताया है।
- महागठबंधन ने भाजपा पर राजनीतिक चालबाज़ी का आरोप लगाया है।
- सम्राट चौधरी को सुशासन और सुरक्षा पर ध्यान देने का निर्देश दिया गया है।
- बिहार की राजनीति में संघर्ष और प्रतिस्पर्धा देखी जा रही है।
पटना, 22 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय मंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के नेता जीतन राम मांझी ने उपमुख्यमंत्री और भाजपा नेता सम्राट चौधरी को बिहार में गृह मंत्री बनाए जाने के निर्णय का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि यह निर्णय राजहित में लिया गया है।
जीतन राम मांझी ने राष्ट्र प्रेस से चर्चा में कहा, "नीतीश कुमार ने अपने कौशल और कार्यकुशलता को प्रदर्शित किया है। सम्राट चौधरी को गृह मंत्री बनाने का निर्णय सही है। यह किसी बहस का विषय नहीं है।"
बिहार सरकार में मंत्री और जदयू नेता अशोक चौधरी ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, "यह अच्छी बात है कि सम्राट चौधरी को गृह मंत्रालय दिया गया है। वे मंत्रालय की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए कड़ी मेहनत करेंगे। नीतीश कुमार ने इस निर्णय को बहुत सोच-समझकर लिया है।"
भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन ने सम्राट चौधरी को गृह मंत्रालय की जिम्मेदारी मिलने पर कहा, "बिहार के इतिहास में पहली बार भाजपा का कोई नेता गृह मंत्री बना है। राज्य में सुशासन है। नीतीश कुमार ने 'जंगलराज' को समाप्त करने का कार्य किया और सुशासन स्थापित किया है। सम्राट चौधरी इसे आगे बढ़ाएंगे।
वे अपराधियों में और डर पैदा करेंगे, ताकि कोई अपराध न कर सके।
हालांकि, महागठबंधन ने सम्राट चौधरी को गृह मंत्रालय देने पर कटाक्ष किया है और कहा कि भाजपा का उद्देश्य जदयू को कमजोर करना और मुख्यमंत्री को किनारे करना है।
राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, "हम शुरू से कह रहे हैं कि भाजपा नीतीश कुमार को केवल मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बिठाएगी, जबकि वे वास्तव में राज करेंगे।" उन्होंने दावा किया कि नीतीश कुमार की कुर्सी खतरे में है और उनकी पार्टी भी टूटने के कगार पर है।
इसी तरह, कांग्रेस प्रवक्ता सुरेंद्र राजपूत ने कहा कि नीतीश कुमार को उनकी ही सरकार में किनारे किया जा रहा है।
सुरेंद्र राजपूत ने कहा, "सम्राट चौधरी ने नीतीश कुमार से गृह मंत्रालय का नियंत्रण ले लिया है। नीतीश कुमार को साइडलाइन किया जा रहा है। भाजपा धीरे-धीरे नीतीश कुमार की पार्टी, उनकी सरकार और उनके समर्थकों को अपने प्रभाव में ला रही है।"