क्या चीन ने दो-राज्य समाधान की नींव को नष्ट करने वाली एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध किया?

Click to start listening
क्या चीन ने दो-राज्य समाधान की नींव को नष्ट करने वाली एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध किया?

सारांश

बीजिंग में आयोजित उच्च स्तरीय वार्ता में कंग श्वांग ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से अपील की है कि वे एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध करें, जो "दो-राज्य समाधान" को कमजोर कर रही हैं। यह मुद्दा मध्य पूर्व में शांति के लिए महत्वपूर्ण है।

Key Takeaways

  • दो-राज्य समाधान का समर्थन
  • अंतर्राष्ट्रीय समुदाय का सहयोग आवश्यक
  • ग़ाज़ा संघर्ष को समाप्त करने की आवश्यकता
  • क्षेत्रीय तनाव को कम किया जाना चाहिए
  • लेबनान और यमन के मुद्दों पर ध्यान केंद्रित

बीजिंग, 26 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। 25 सितंबर को सुरक्षा परिषद और अरब लीग ट्रोइका के बीच आयोजित उच्च स्तरीय अनौपचारिक वार्ता में संयुक्त राष्ट्र में चीन के उप स्थायी प्रतिनिधि कंग श्वांग ने अरब देशों और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से अपील की कि वे उन एकतरफ़ा कार्रवाइयों का मिलकर विरोध करें, जो "दो-राज्य समाधान" की नींव को कमजोर करती हैं।

कंग श्वांग ने स्पष्ट किया कि फ़िलिस्तीनी मुद्दा मध्य पूर्व समस्या का मूल है और "दो-राज्य समाधान" ही इसे हल करने का एकमात्र व्यवहारिक रास्ता है। उन्होंने कहा कि चीन इस सप्ताह आयोजित "दो-राज्य समाधान" के कार्यान्वयन पर उच्च स्तरीय बैठक का पूर्ण समर्थन करता है। साथ ही, चीन ने अरब देशों और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से अपील की कि वे सकारात्मक गति को बनाए रखते हुए ठोस और प्रभावी कदम उठाएं, फ़िलिस्तीनी लोगों के जबरन विस्थापन का विरोध करें और ग़ाज़ा तथा वेस्ट बैंक को मिलाने के अवैध प्रयासों का प्रतिरोध करें।

अपने संबोधन में उन्होंने इस बात पर बल दिया कि ग़ाज़ा में जारी संघर्ष को जल्द से जल्द समाप्त करना आवश्यक है। उन्होंने सराहना की कि अरब लीग और क्षेत्रीय देश सक्रिय रूप से युद्धविराम और ग़ाज़ा में हिंसा रोकने के लिए प्रयासरत हैं, जबकि मिस्र और क़तर ने मध्यस्थता के लिए महत्वपूर्ण योगदान दिया है।

कंग श्वांग ने दोहराया कि अंतर्राष्ट्रीय शांति और सुरक्षा बनाए रखने की प्राथमिक ज़िम्मेदारी सुरक्षा परिषद की है। उन्होंने आशा जताई कि परिषद के सभी सदस्य, विशेषकर वे जिनका संबंधित पक्षों पर गहरा प्रभाव है, पर्याप्त राजनीतिक इच्छाशक्ति दिखाएँगे और ग़ाज़ा में युद्धविराम लागू करने तथा मानवीय संकट को कम करने के लिए आवश्यक कदम उठाएंगे।

इसके अलावा, उन्होंने कहा कि क्षेत्रीय तनाव को शीघ्रता से कम करना ज़रूरी है। उन्होंने इज़रायल से आग्रह किया कि वह सीरिया, लेबनान, यमन और अन्य देशों की संप्रभुता, सुरक्षा और प्रादेशिक अखंडता का उल्लंघन बंद करे। कंग श्वांग ने सीरियाई संक्रमणकालीन सरकार को समावेशी राजनीतिक प्रक्रिया आगे बढ़ाने, आतंकवाद-रोधी प्रतिबद्धताओं को पूरा करने और पूर्वी तुर्किस्तान इस्लामिक मूवमेंट सहित सुरक्षा परिषद द्वारा सूचीबद्ध सभी आतंकी संगठनों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई करने के लिए प्रोत्साहित किया।

साथ ही, उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से लेबनान सरकार को समर्थन जारी रखने का आग्रह किया ताकि वहां सकारात्मक शासन लागू हो सके, जनता की जीवन-स्थितियों में सुधार आए और देश में नियंत्रण बहाल हो। यमन मुद्दे पर चीन ने राजनीतिक समाधान की दिशा में प्रयास बढ़ाने और लाल सागर में नौवहन की स्वतंत्रता सुनिश्चित करने के लिए और अधिक ठोस कदम उठाने का आह्वान किया।

(साभार-चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)

Point of View

हमें यह समझना चाहिए कि अंतर्राष्ट्रीय शांति के लिए यह आवश्यक है कि सभी देश एकजुट होकर फिलिस्तीनी मुद्दा का समाधान ढूंढें। चीन का यह प्रयास एक सकारात्मक कदम है, जो शांति की दिशा में अग्रसर हो सकता है।
NationPress
26/09/2025

Frequently Asked Questions

चीन ने एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध क्यों किया?
चीन ने एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध किया क्योंकि ये कार्रवाइयाँ 'दो-राज्य समाधान' की नींव को कमजोर कर रही हैं।
कंग श्वांग का यह कदम क्या है?
कंग श्वांग ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से अपील की है कि वे मिलकर एकतरफ़ा कार्रवाइयों का विरोध करें।
फिलिस्तीनी मुद्दा क्यों महत्वपूर्ण है?
फिलिस्तीनी मुद्दा मध्य पूर्व की स्थिरता और शांति के लिए एक मूल समस्या है।