क्या गुजरात की युवा रोजगार योजना से युवाओं को मिल रही है नौकरी?

सारांश
Key Takeaways
- युवा रोजगार योजना के तहत नियुक्ति पत्र का वितरण किया गया।
- मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने युवा प्रतिभाओं का उत्साह बढ़ाया।
- लाभार्थियों ने प्रधानमंत्री का आभार व्यक्त किया।
- कार्यक्रम में स्किल डेवलपमेंट पर जोर दिया गया।
- हर काम का सम्मान होना चाहिए, यह मुख्यमंत्री का संदेश था।
गांधीनगर, 8 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। गुजरात के गांधीनगर टाउन हॉल में विकास सप्ताह के अवसर पर युवा रोजगार और कौशल सशक्तिकरण योजना के अंतर्गत एक समारोह का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में युवाओं को नियुक्ति पत्र प्रदान किए गए। यह कार्यक्रम मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल और उद्योग मंत्री बलवंत सिंह राजपूत की अध्यक्षता में संपन्न हुआ।
मुख्यमंत्री ने लाभार्थियों को जॉब ऑफर लेटर सौंपे। नियुक्ति पत्र प्राप्त करने वाले युवाओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के प्रति आभार व्यक्त किया। लाभार्थियों ने कहा कि नौकरी मिलने से हम आर्थिक रूप से सशक्त होंगे और परिवार का सहारा बनेंगे।
आईआईटी कुवेर नगर की लाभार्थी छात्रा प्राची तोमर ने कहा, "मैं मुख्यमंत्री को धन्यवाद देना चाहूंगी क्योंकि उन्होंने हमें ऑफर लेटर दिया। युवा रोजगार और कौशल सशक्तिकरण योजना के तहत हमें यह पत्र मिला है। हमने दो वर्षों का कोर्स पूरा किया और अब नौकरी की उम्मीद में थे। ऑफर लेटर मिलने के बाद मैं बेहद खुश हूं।"
एक अन्य लाभार्थी युवक ने बताया कि उन्हें टेक महिंद्रा में नौकरी मिली है। उन्होंने कहा, "हमें लंबे समय से रोजगार की तलाश थी, जो अब पूरी हो गई है। इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री को बहुत बधाई और आभार। रोजगार मिलने से मैं अपने परिवार का सहारा बन सकूंगा और आर्थिक रूप से मजबूत हो जाऊंगा।"
मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने कार्यक्रम में मंत्री बलवंत सिंह राजपूत की ऊर्जा और उत्साह की सराहना की। उन्होंने कहा, "हमारे मंत्री उत्साही और ऊर्जावान हैं। उनकी आवाज़ में एक कमाल है।"
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान समय में कोई भी एक स्किल बहुत आवश्यक है। गुजरात सरकार स्किल डेवलपमेंट पर कार्य कर रही है। उन्होंने विदेश जाने वाले लोगों के बारे में कहा कि वे वहां केवल नौकरी करते हैं और काम करने में कोई संकोच नहीं करते। मुख्यमंत्री ने कहा, "यहां किसी को दो घंटे रिक्शा चलाने के लिए कहो तो हिचकिचाते हैं, जबकि हर काम का सम्मान होना चाहिए।"