क्या हुमायूं कबीर ने टीएमसी और भाजपा विरोधियों को एकजुट होने का आह्वान किया?

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क्या हुमायूं कबीर ने टीएमसी और भाजपा विरोधियों को एकजुट होने का आह्वान किया?

सारांश

हुमायूं कबीर ने पश्चिम बंगाल में टीएमसी और भाजपा विरोधियों को एकजुट होने का आह्वान किया है। क्या उनका यह कदम आगामी विधानसभा चुनावों में महत्वपूर्ण बदलाव ला सकेगा? जानिए उनकी नई पार्टी की घोषणा से पहले उनकी रणनीतियों के बारे में।

Key Takeaways

  • हुमायूं कबीर की नई पार्टी की घोषणा से पहले की गई अपील
  • टीएमसी और भाजपा विरोधियों को एकजुट करना
  • आगामी विधानसभा चुनाव में ममता बनर्जी की सरकार को चुनौती देना
  • माइनॉरिटी वोटर्स का एकत्रीकरण
  • नई पार्टी का लोगो और नाम पर विचार

कोलकाता, 21 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। टीएमसी से निलंबित विधायक हुमायूं कबीर ने रविवार को तृणमूल कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी के विरोधियों से अनुरोध किया कि वे एकजुट हों और अगले वर्ष होने वाले महत्वपूर्ण विधानसभा चुनावों में पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की सरकार को हटाने के लिए गठबंधन में चुनाव लड़ें। हुमायूं कबीर ने यह घोषणा अपनी नई राजनीतिक पार्टी की घोषणा से एक दिन पहले की।

हुमायूं कबीर ने रविवार शाम को मीडिया से बातचीत की, जिसमें उन्होंने कहा, "मैं पश्चिम बंगाल में सभी एंटी-तृणमूल कांग्रेस और एंटी-भाजपा ताकतों को एक साथ आने के लिए आमंत्रित कर रहा हूं। आइए हम अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव में एक ग्रैंड अलायंस बनाकर लड़ें। हालांकि, अगर कोई भी ताकत खुद को सबसे ऊपर समझती है, तो मेरी पार्टी अकेले चुनाव लड़ेगी। यदि आवश्यक हुआ, तो मैं पश्चिम बंगाल की सभी 294 विधानसभा सीटों से उम्मीदवार उतारूंगा। मेरे पास वह शक्ति है।"

उन्होंने यह स्पष्ट किया कि उनका यह कदम पूरी तरह से राजनीतिक है, इसलिए वे कोई भी निर्णय लेने से पहले कई बार सोचेंगे।

कबीर ने कहा, "मेरा काम माइनॉरिटी वोटर्स को एक साथ लाना है। हमारा लक्ष्य कम से कम 90 सीटों पर जीतना है ताकि मेरी पार्टी अगले साल विधानसभा चुनाव के बाद नई सरकार बनाने में भूमिका निभा सके। नहीं तो, मुर्शिदाबाद जिले में बाबरी मस्जिद बनाने का मेरा सपना अधूरा रह सकता है।"

वहीं, अल्पसंख्यक-बहुल मुर्शिदाबाद जिले के भरतपुर से सत्तारूढ़ पार्टी के निलंबित विधायक कबीर ने अपने नए राजनीतिक दल के लोगो के बारे में भी चर्चा की, जिसकी घोषणा वे सोमवार को करेंगे।

उन्होंने कहा, "लोगो के लिए मेरी पहली पसंद 'टेबल' है। मेरी दूसरी पसंद 'ट्विन रोजेज' है। अगर मुझे इनमें से कोई भी नहीं मिला, तो मैं तीसरे विकल्प पर विचार करूंगा।"

उन्होंने अपनी नई पार्टी का नाम नहीं बताया, लेकिन कबीर ने कहा कि नाम कुछ भी हो, 'कांग्रेस' और 'तृणमूल' शब्द उस राजनीतिक दल से नहीं जुड़ेंगे।

कबीर ने कहा, "पश्चिम बंगाल के लोग खुद को उस पार्टी से जोड़ पाएंगे। मेरी पार्टी आम लोगों का प्रतिनिधित्व करेगी। हमारी पार्टी केवल आम लोगों के विकास की बात करेगी।"

Point of View

जहां हुमायूं कबीर ने एक बड़ी राजनीतिक शक्ति बनने की कोशिश की है। उनका आह्वान सभी विरोधियों को एकजुट होने के लिए है, जो कि आगामी विधानसभा चुनावों में स्थिति को बदल सकता है। ऐसे समय में जब राजनीतिक दलों के बीच प्रतिस्पर्धा बढ़ रही है, कबीर की यह पहल एक नई दिशा दे सकती है।
NationPress
21/12/2025

Frequently Asked Questions

हुमायूं कबीर कौन हैं?
हुमायूं कबीर एक निलंबित विधायक हैं जो टीएमसी से जुड़े थे और अब अपनी नई राजनीतिक पार्टी की घोषणा कर रहे हैं।
कबीर ने किसे एकजुट होने का आह्वान किया है?
कबीर ने टीएमसी और भाजपा के विरोधियों से एकजुट होने का आह्वान किया है।
उनका मुख्य उद्देश्य क्या है?
उनका मुख्य उद्देश्य अगले विधानसभा चुनाव में ममता बनर्जी की सरकार को हटाना है।
कबीर की नई पार्टी का क्या नाम है?
कबीर ने अभी अपनी नई पार्टी का नाम नहीं बताया है।
कबीर का लक्ष्य क्या है?
उनका लक्ष्य कम से कम 90 सीटों पर जीत हासिल करना है।
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