क्या आईओसीएल ने श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को अत्याधुनिक एम्बुलेंस और मेडिकल उपकरण दिए?

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क्या आईओसीएल ने श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को अत्याधुनिक एम्बुलेंस और मेडिकल उपकरण दिए?

सारांश

इंडियन ऑयल ने श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को अत्याधुनिक एम्बुलेंस और मेडिकल उपकरण दिए हैं, जिससे स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार होगा। यह पहल मरीजों की देखभाल और आपातकालीन सेवाओं को गति देगी।

Key Takeaways

  • स्वास्थ्य सेवाओं का सुदृढ़ीकरण
  • आपातकालीन चिकित्सा प्रतिक्रिया में सुधार
  • कॉक्लियर इम्प्लांट सर्जरी का लाभ
  • मेडिकल शिक्षण और शोध की गुणवत्ता में सुधार
  • कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी का उदाहरण

कटरा, 1 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ बनाने और इमरजेंसी मेडिकल रिस्पॉन्स को और भी प्रभावी करने की दिशा में, इंडियन ऑयल ने श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को अपने सीएसआर कार्यक्रम के अंतर्गत अत्याधुनिक एम्बुलेंस और मेडिकल उपकरण दान किए।

इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आईओसीएल) ने अपने कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (सीएसआर) कार्यक्रम के तहत श्री माता वैष्णो देवी नारायणा सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल (एसएमवीडीएनएसएच) और श्री माता वैष्णो देवी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल एक्सीलेंस (एसएमवीडीआईएमई), ककरयाल को महत्वपूर्ण समर्थन दिया है। यह सहयोग श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड (एसएमवीडीएसबी) के माध्यम से लागू किया गया है।

इस पहल के अंतर्गत, आईओसीएल ने अत्याधुनिक क्रिटिकल केयर एम्बुलेंस, एक ब्लड डोनेशन वैन और उन्नत डायग्नोस्टिक उपकरण प्रदान किए हैं। इन संसाधनों के जुड़ने से दोनों संस्थानों का मेडिकल इंफ्रास्ट्रक्चर और प्रभावी हुआ है। मरीजों की देखभाल और आपातकालीन स्थितियों से निपटने की क्षमता में उल्लेखनीय सुधार आया है। इसके अतिरिक्त, इस सीएसआर प्रोग्राम के माध्यम से 11 बच्चों को कॉक्लियर इम्प्लांट सर्जरी का लाभ मिला है, जिससे उन्हें सुनने और बोलने की क्षमता प्राप्त हुई। यह उनके जीवन में एक महत्वपूर्ण बदलाव है।

एसएमवीडीएसबी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी सचिन कुमार वैश्य ने क्रिटिकल केयर एम्बुलेंस और रक्तदान वैन को औपचारिक रूप से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने आईओसीएल के योगदान के लिए आभार व्यक्त करते हुए कहा कि क्रिटिकल केयर एम्बुलेंस और ब्लड डोनेशन वैन के समावेश से आपातकालीन सेवाओं में गति आएगी और जरूरतमंद मरीजोंतीर्थयात्रियों को समय पर चिकित्सीय सहायता सुनिश्चित हो सकेगी। उन्होंने बताया कि डायलिसिस यूनिट और नए अस्पताल बेड जुड़ने से उपचार क्षमता बढ़ेगी और मरीजों को अधिक आरामदायक सुविधाएं मिलेंगी।

उन्होंने यह भी कहा कि कॉक्लियर इम्प्लांट प्रोग्राम के अंतर्गत मिला सहयोग सुनने में कठिनाई वाले लोगों के लिए जीवन परिवर्तनकारी साबित होगा। वहीं, पॉलीग्राफ मशीन, एर्गोग्राफ मशीन और उन्नत फिजियोलॉजी लैब उपकरणों के समावेश से एसएमवीडीआईएमई में मेडिकल शिक्षण और शोध की गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार होगा, जिससे भविष्य के चिकित्सकों को आधुनिक और बेहतर प्रशिक्षण मिल सकेगा।

इस अवसर पर आईओसीएल के कार्यकारी निदेशक (एचआर) डॉ. मुकेश रंजन दास, अतिरिक्त सीईओ आलोक कुमार मौर्य, एसएमवीडीएसबी के एफए/सीएओ महेश शर्मा, एसएमवीडीआईएमई के कार्यकारी निदेशक डॉ. यशपाल शर्मा, एसएमवीडीएनएसएच के सुविधा निदेशक डॉ. एमएम मथवन, जीएम (एचआर एंड सीएसआर) आरिफ अख्तर, आईओसीएल कॉर्पोरेट कार्यालय दिल्ली के जीएम (एमएस एंड सीएसआर) राकेश रौशन सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी, शिक्षक और कर्मचारी उपस्थित थे।

Point of View

बल्कि समाज के प्रति कॉर्पोरेट जिम्मेदारी का भी एक उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत करती है। इंडियन ऑयल का यह कदम, स्वास्थ्य क्षेत्र में एक नई दिशा को दर्शाता है और यह दर्शाता है कि कैसे कंपनियाँ समाज की भलाई में योगदान कर सकती हैं।
NationPress
09/12/2025

Frequently Asked Questions

इंडियन ऑयल ने किस संस्थान को सहायता दी?
इंडियन ऑयल ने श्री माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को सहायता दी है।
इस सहायता में क्या-क्या शामिल है?
इस सहायता में अत्याधुनिक एम्बुलेंस, ब्लड डोनेशन वैन और उन्नत मेडिकल उपकरण शामिल हैं।
कितने बच्चों को कॉक्लियर इम्प्लांट का लाभ मिला है?
11 बच्चों को कॉक्लियर इम्प्लांट सर्जरी का लाभ मिला है।
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