क्या झारखंड में ५० करोड़ के टेंडर घोटाले की तैयारी है? भाजपा ने हेमंत सरकार पर गंभीर आरोप लगाए

सारांश
Key Takeaways
- झारखंड में ५० करोड़ का टेंडर घोटाला
- भाजपा ने आरोप लगाया कि यह साजिश है
- स्थानीय युवाओं के हक की अनदेखी
- सीएजी रिपोर्ट में अनियमितताएं सामने आई हैं
- निष्पक्ष जांच की मांग
रांची, ८ अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। झारखंड भाजपा के प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने बुधवार को प्रदेश कार्यालय में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में सोरेन सरकार पर स्वास्थ्य विभाग में ५० करोड़ रुपए के टेंडर घोटाले का गंभीर आरोप लगाया।
प्रतुल शाहदेव ने कहा कि सरकार एक ब्लैकलिस्टेड और डीबार कंपनी को टेंडर दिलाने की साजिश कर रही है, जिसमें सभी नियम-कानूनों को नजरअंदाज किया जा रहा है।
उन्होंने बताया, "स्वास्थ्य विभाग में लगभग ५० करोड़ रुपए का टेंडर घोटाला हो रहा है। इसके लिए बिहार की एक ब्लैकलिस्टेड कंपनी को टेंडर देने की पूरी साजिश रची जा रही है। सारे नियमों को ताक पर रखकर यह काम किया जा रहा है, ताकि वह कंपनी टेंडर प्रक्रिया में शामिल होने वाली एकमात्र कंपनी बने।"
उन्होंने इस मुद्दे पर हेमंत सोरेन सरकार की मंशा पर सवाल उठाए और कहा कि यह न केवल राज्य के संसाधनों का दुरुपयोग है, बल्कि स्थानीय युवाओं के हितों के खिलाफ भी है।
भाजपा प्रवक्ता ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के एक पुराने वादे का जिक्र करते हुए कहा, "मुख्यमंत्री ने स्थानीय युवाओं को टेंडर प्रक्रिया में ७५ प्रतिशत आरक्षण देने का वादा किया था। लेकिन, स्वास्थ्य विभाग के इस टेंडर के लिए ऐसी शर्तें तय की जा रही हैं कि बिहार की ब्लैकलिस्टेड कंपनी को ही फायदा पहुंचे।"
उन्होंने यह भी बताया कि निविदा की राशि को ५०० गुना तक बढ़ा दिया गया है, जिससे कोई भी झारखंडी कंपनी आहर्ता पूरी करने में सक्षम नहीं रह सके। यह एक साफ साजिश है कि स्थानीय उद्योगपतियों और युवाओं को बाहर रखा जाए ताकि बाहरी ब्लैकमनी वाली कंपनी को फायदा हो।
उन्होंने सीएजी रिपोर्ट का हवाला दिया, जिसमें स्वास्थ्य विभाग में पहले ही अनियमितताओं के मामले सामने आ चुके हैं। उन्होंने मांग की कि इस टेंडर प्रक्रिया को तुरंत रोका जाए और पूरे मामले की निष्पक्ष जांच कराई जाए।
उन्होंने कहा, "झारखंडी जनता अब जाग चुकी है। जनता ऐसे घोटालों के खिलाफ भाजपा के साथ खड़ी होगी।"