क्या मध्य प्रदेश में ओबीसी को 27 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा? : मोहन यादव

सारांश
Key Takeaways
- ओबीसी को 27 प्रतिशत आरक्षण का ऐलान किया गया है।
- कांग्रेस पर तीखा हमला किया गया।
- राज्य में विकास के कई पहलुओं में सुधार हुआ है।
- आरक्षण का मामला न्यायालय में लंबित है।
- कांग्रेस ने पहले जाति जनगणना को रोकने का कार्य किया था।
भोपाल, 29 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। मध्य प्रदेश में अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण को लेकर चल रही सियासी हलचल के बीच मुख्यमंत्री मोहन यादव ने स्पष्ट किया है कि राज्य के ओबीसी वर्ग को 27 प्रतिशत आरक्षण प्रदान किया जाएगा।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने संवाददाताओं के समक्ष चर्चा करते हुए कांग्रेस के कार्यों और शासनकाल की आलोचना की। उन्होंने कहा कि विधायक ढाई लाख से अधिक वोटरों के बीच से चुने जाते हैं, इसलिए उन्हें अपनी गरिमा के अनुसार सदन में और बाहर बोलना चाहिए।
कांग्रेस द्वारा हाल में गिरगिट के खिलौने के साथ किए गए प्रदर्शन और भैंस के आगे बीन बजाने पर तंज कसते हुए मुख्यमंत्री यादव ने कहा कि कांग्रेस हमेशा अपने रंग बदलती रही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के शासन में बिजली, पानी और सड़क की स्थिति सभी ने देखी है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि उस समय सिंचाई का क्षेत्रफल केवल 7 लाख हेक्टेयर था, जबकि आज यह 55 लाख हेक्टेयर हो चुका है। कांग्रेस के शासन में प्रति व्यक्ति आय 11,000 रुपए थी, जो आज 1 लाख 52,000 रुपए हो गई है।
उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस विभिन्न समाजों को भड़काने में लगी हुई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जाति जनगणना का समर्थन किया और कहा कि यह सही समय पर होगी। जबकि कांग्रेस ने इसे पहले रोक दिया था।
ओबीसी आरक्षण पर मुख्यमंत्री ने कहा कि कांग्रेस की कमजोरियों और लचर नियमों के कारण ओबीसी को कोई लाभ नहीं मिला। उन्होंने आश्वासन दिया कि हम 27 प्रतिशत आरक्षण अवश्य देंगे और कई विभागों में इसे लागू कर दिया गया है। ओबीसी आरक्षण का मामला न्यायालय में लंबित है, और जल्द ही इसे लागू करने के प्रयास किए जाएंगे।