क्या लातेहार में नौ नक्सलियों ने हथियारों के जखीरे के साथ आत्मसमर्पण किया?

सारांश
Key Takeaways
- लातेहार में नौ नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया।
- उग्रवादियों ने पुलिस को हथियारों का जखीरा सौंपा।
- सरकार की आत्मसमर्पण नीति का सकारात्मक प्रभाव देखा जा रहा है।
- यह घटना झारखंड की सुरक्षा स्थिति को दर्शाती है।
- आत्मसमर्पण करने वालों में कई पर इनाम था।
लातेहार, 1 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। झारखंड के लातेहार जिले में प्रतिबंधित संगठन झारखंड जनमुक्ति परिषद (जेजेएमपी) के नौ उग्रवादियों ने सोमवार को पुलिस और सुरक्षा बलों के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया।
आत्मसमर्पण करने वालों में चार उग्रवादी ऐसे थे जिन पर पांच-पांच लाख रुपए का इनाम घोषित था। एक अन्य पर तीन लाख का इनाम था, जबकि चार ऐसे थे, जो कई नक्सल वारदातों में वांटेड थे।
झारखंड के इतिहास में पहली बार इतनी बड़ी संख्या में उग्रवादियों ने एक साथ सरेंडर किया है। आत्मसमर्पण करने वाले उग्रवादियों ने पांच एके-47 सहित बड़ी संख्या में हथियार और कारतूस भी पुलिस को सौंपे हैं। लातेहार पुलिस का दावा है कि इन उग्रवादियों के आत्मसमर्पण से प्रतिबंधित संगठन झारखंड जनमुक्ति परिषद (जेजेएमपी) का पूरी तरह खात्मा हो गया है।
आत्मसमर्पण करने वालों में जेजेएमपी का सबसे बड़ा जोनल कमांडर रवींद्र यादव भी शामिल है, जिस पर पांच लाख रुपए का इनाम था। उसके खिलाफ 14 मामले दर्ज हैं। उसने दो एके-47, तीन अन्य राइफल और 1,241 कारतूस पुलिस को सौंपे। इसी तरह, सब जोनल कमांडर अखिलेश रवींद्र यादव ने एक एके-47 और 256 कारतूस के साथ आत्मसमर्पण किया। वह भी पांच लाख का इनामी था और उस पर 10 मामले दर्ज हैं।
सब जोनल कमांडर बलदेव गंझू पर भी पांच लाख रुपए का इनाम था और उस पर नौ मामले दर्ज हैं। एक अन्य सब जोनल कमांडर मुकेश राम यादव पर 21 मामले दर्ज हैं और वह भी पांच लाख का इनामी है। तीन लाखपवन उर्फ राम प्रसाद ने एक राइफल के साथ सरेंडर किया।
इनके अलावा, तीन मामलों में वांटेड एरिया कमांडर ध्रुव ने एक राइफल के साथ आत्मसमर्पण किया, जबकि दूसरे एरिया कमांडर श्रवण सिंह ने भी पुलिस को एक एके-47, एक राइफल और 131 कारतूस सौंपे। तीसरे एरिया कमांडर मुकेश गंझू ने एक एके-47 और 154 कारतूस के साथ समर्पण किया।
लातेहार पुलिस मुख्यालय में आयोजित आत्मसमर्पण कार्यक्रम के दौरान सीआरपीएफ के आईजी साकेत सिंह, आईजी अभियान माइकलराज एस, पलामू आईजी सुनील भास्कर, डीआईजी नौशाद आलम, लातेहार एसपी कुमार गौरव और सीआरपीएफ कमांडेंट मौजूद थे।
लातेहार पुलिस का कहना है कि जिले में नक्सलियों पर लगातार दबाव बनाया जा रहा है और सरकार की आत्मसमर्पण नीति का असर साफ दिख रहा है। कुछ महीने पहले जेजेएमपी संगठन के पांच लाखलवलेश गंझू और एक-एक लाखप्रमोद गंझू, पलेंद्र गंझू और तुलसी गंझू ने भी सरेंडर किया था।
आंकड़ों के अनुसार, जनवरी 2025 से अब तक लातेहार पुलिस ने 75 नक्सलियों को गिरफ्तार किया है। हाल के महीनों में कई बड़े अभियान भी चलाए गए। 24 मईदस लाखपप्पू लोहरा और पांच लाखसुदेश गंझू उर्फ प्रभात मारे गए थे। 26 मईपांच लाखमनीष यादव मारा गया, जबकि दस लाखकुंदन गिरफ्तार किया गया था।