क्या ओडिशा सतर्कता विभाग ने सहायक अभियंता दिलेश्वर माझी की अवैध संपत्तियों पर छापेमारी की?

सारांश
Key Takeaways
- भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई: ओडिशा सतर्कता विभाग ने महत्वपूर्ण कार्रवाई की।
- भारी मात्रा में संपत्ति जब्ती: लाखों रुपये और आभूषण बरामद हुए।
- गंभीर आरोप: आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले में छानबीन।
रांची, 3 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। ओडिशा सतर्कता विभाग ने आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के आरोप में टिटिलागढ़ में सड़क एवं भवन (आरएंडबी) प्रभाग के सहायक कार्यकारी अभियंता दिलेश्वर माझी के खिलाफ एक महत्वपूर्ण छापेमारी अभियान चलाया है।
यह कार्रवाई एक विश्वसनीय खुफिया जानकारी के आधार पर की गई, जिसके तहत माझी से संबंधित कई ठिकानों पर एक साथ तलाशी ली गई।
इस अभियान का उद्देश्य भ्रष्टाचार और अवैध संपत्ति के संचय से जुड़े गंभीर आरोपों की जांच करना है। सतर्कता विभाग की एक विशेष टीम ने संबलपुर के सरला क्षेत्र में स्थित माझी के आवास पर भी छापेमारी की। इस दौरान अधिकारियों ने 6 लाख रुपये से अधिक की नकदी जब्त की, जिसमें 2000 रुपये के पुराने नोटों के बंडल भी शामिल थे। इसके अतिरिक्त, बड़ी मात्रा में सोने के आभूषण, अनेक बैंक पासबुक और वित्तीय लेनदेन से संबंधित महत्वपूर्ण दस्तावेज भी बरामद किए गए।
मिली जानकारी के अनुसार, यह छापेमारी केवल माझी के आवास तक सीमित नहीं थी। सतर्कता विभाग ने संबलपुर, झारसुगुड़ा, बलांगीर और टिटिलागढ़ सहित माझी से जुड़े छह अलग-अलग स्थानों पर एक साथ तलाशी अभियान चलाया। इन छापों का उद्देश्य माझी की संपत्तियों और उनके वित्तीय स्रोतों की गहन जांच करना है।
सतर्कता विभाग अब इन जब्त सामग्रियों और दस्तावेजों का विश्लेषण कर रहा है ताकि माझी की संपत्तियों का कुल मूल्य और उनकी आय के स्रोतों का पता लगाया जा सके।
प्रारंभिक जानकारी से पता चला है कि माझी ने आय से कहीं अधिक संपत्ति अर्जित की है, जो भ्रष्टाचार निरोधक कानूनों के तहत गंभीर अपराध माना जाता है।
ओडिशा सतर्कता विभाग की इस जांच से दिलेश्वर माझी के अवैध संपत्ति का खुलासा होने की उम्मीद है। हालांकि, अभी तक इस मामले में माझी की ओर से कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है।