क्या पटना में व्यापारी गोपाल खेमका की हत्या ने जंगलराज की सच्चाई को उजागर किया?

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क्या पटना में व्यापारी गोपाल खेमका की हत्या ने जंगलराज की सच्चाई को उजागर किया?

सारांश

पटना में एक प्रमुख व्यापारी की हत्या ने न केवल स्थानीय समुदाय को झकझोर दिया बल्कि राजनीतिक हलचल भी पैदा कर दी है। तेजस्वी यादव और अन्य नेताओं ने इसे जंगलराज का संकेत बताया है। इस हत्याकांड की जांच और उसके पीछे की सच्चाई जानने के लिए बने रहें।

Key Takeaways

  • गोपाल खेमका की हत्या ने बिहार में कानून-व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं।
  • बिहार में व्यापारियों की सुरक्षा चिंता का विषय बन गई है।
  • राजनीतिक नेताओं ने इस हत्या को जंगलराज से जोड़ा है।
  • पुलिस ने एसआईटी का गठन करके मामले की जांच शुरू की है।
  • परिवार ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया है।

पटना, 5 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। बिहार विधानसभा चुनाव की दहलीज पर खड़े पटना में एक व्यवसायी गोपाल खेमका की हत्या ने समाज में हड़कंप मचा दिया है। इस हत्याकांड पर राजनीति गरमा गई है। बिहार विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष और पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने इस घटना पर गहरे सवाल खड़े किए हैं।

उन्होंने अपनी एक्स पोस्ट में लिखा, "पुलिस थाने से कुछ ही कदमों की दूरी पर पटना में एक प्रमुख व्यापारी की गोली मारकर हत्या कर दी गई। हर महीने बिहार में सैकड़ों व्यापारियों की हत्या हो रही है, लेकिन जंगलराज की बात करने से हम क्यों कतराते हैं? इसे तो शास्त्रों में छवि प्रबंधन कहा जाता है।"

कांग्रेस के मीडिया प्रभारी राजेश राठौड़ ने कहा कि पहले बेटे की हत्या और अब पिता की हत्या यह दर्शाती है कि बिहार में गुंडाराज का तांडव जारी है। व्यापारी यहाँ से भाग रहे हैं और नए व्यापारी आने से भी डर रहे हैं। उन्होंने कहा, "मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को अब इस्तीफा देना चाहिए या कम से कम गृह मंत्री का पद किसी युवा को सौंप देना चाहिए।"

वहीं, जेडीयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने घटना की गंभीरता को स्वीकारते हुए राज्य प्रशासन का बचाव किया। उन्होंने कहा कि गोपाल खेमका एक प्रमुख उद्योगपति थे और पटना के गांधी मैदान के पास उनकी नृशंस हत्या चौंकाने वाली है। यह हत्या कानून के शासन को चुनौती देती है। बिहार के डीजीपी ने इस मामले का तुरंत संज्ञान लिया और सिटी एसपी सेंट्रल के नेतृत्व में एक एसआईटी का गठन किया गया है। एसआईटी मामले के सभी पहलुओं की जांच कर रही है।

इस बीच, गोपाल खेमका के परिवार ने पुलिस पर गंभीर लापरवाही का आरोप लगाया है। उनके भाई शंकर खेमका ने कहा: "घटना के तीन घंटे बाद, करीब 2:30 बजे अधिकारी पहुंचे। गोपाल घर लौट रहे थे, तभी हमलावरों ने उन पर गोलियां चलाईं, जैसे 2018 में उनके बेटे पर किया गया था।"

यह ध्यान देने योग्य है कि पटना शहर के एक थाने से केवल कुछ कदमों की दूरी पर एक बड़े व्यापारी, गोपाल खेमका की गोली मारकर हत्या कर दी गई। इस घटना की जानकारी बिहार पुलिस ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स के माध्यम से दी।

Point of View

लेकिन जनता का विश्वास कमजोर होता जा रहा है। इस तरह की घटनाएं केवल सामाजिक अस्थिरता नहीं बल्कि आर्थिक विकास में भी बाधा डालती हैं।
NationPress
19/07/2025

Frequently Asked Questions

गोपाल खेमका की हत्या कब हुई?
गोपाल खेमका की हत्या 5 जुलाई को पटना में हुई।
तेजस्वी यादव ने इस हत्या पर क्या कहा?
तेजस्वी यादव ने इसे जंगलराज का प्रतीक बताते हुए गहरी चिंता व्यक्त की।
क्या पुलिस ने इस मामले में कार्रवाई की है?
हाँ, पुलिस ने मामले की गंभीरता को समझते हुए एक एसआईटी का गठन किया है।
क्या परिवार ने पुलिस पर आरोप लगाया है?
जी हाँ, गोपाल खेमका के परिवार ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया है।
इस घटना का राजनीतिक प्रभाव क्या होगा?
यह घटना बिहार की राजनीति में उथल-पुथल मचा सकती है और आगामी चुनावों पर भी असर डाल सकती है।