क्या प्रियंका गांधी ने जगन्नाथ यात्रा के दौरान हुई भगदड़ पर शोक व्यक्त किया?

सारांश
Key Takeaways
- भगदड़ में तीन लोगों की मृत्यु हुई है।
- सरकार ने 25 लाख रुपए की सहायता की घोषणा की।
- अधिकारियों के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई की गई।
- जगन्नाथ यात्रा के आयोजन में बेहतर संयोजन की आवश्यकता है।
- प्रियंका गांधी ने संवेदनाएं प्रकट कीं।
नई दिल्ली, 29 जून (राष्ट्र प्रेस)। वायनाड से लोकसभा सांसद और कांग्रेस की वरिष्ठ नेता प्रियंका गांधी ने रविवार को ओडिशा के पुरी में जगन्नाथ यात्रा के दौरान हुई भगदड़ पर गहरा दुख व्यक्त किया।
प्रियंका गांधी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर लिखा, "पुरी में भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा के दौरान हुई भगदड़ का समाचार बेहद दुखद है। भगवान दिवंगत आत्माओं को शांति दें। शोक-संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं। घायल श्रद्धालुओं के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करती हूं।"
दरअसल, पुरी में रथ यात्रा के दौरान श्री गुंडिचा मंदिर के पास हुई इस दुखद घटना में लगभग तीन लोगों की जान चली गई और कई अन्य घायल हुए। यह हादसा सुबह लगभग 4:30 बजे घटित हुआ। जिन तीन लोगों की मृत्यु हुई है, उनमें दो महिलाएं, प्रभाती दास और बसंती साहू, शामिल हैं। इसके अलावा, 70 वर्षीय प्रेमकांत मोहंती की भी जान गई। ये तीनों खुरदा जिले के निवासी थे और रथ यात्रा के लिए पुरी आए थे।
भगदड़ की इस घटना पर माझी सरकार ने तुरंत कार्रवाई करते हुए दो अधिकारियों को निलंबित कर दिया है। डीसीपी बिष्णुपति और कमांडेंट अजय पाढ़ी को ड्यूटी में लापरवाही के कारण निलंबित किया गया है। वहीं, पुरी के जिला कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक (एसपी) का भी तबादला किया गया है।
चंचल राणा को नया जिला कलेक्टर नियुक्त किया गया है, जबकि पिनाक मिश्रा को नए एसपी की जिम्मेदारी दी गई है। इसके अतिरिक्त, ओडिशा सरकार ने मृतकों के परिजनों को 25 लाख रुपए की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है।
जिला कलेक्टर के रूप में कार्यभार संभालने के बाद मीडिया से बात करते हुए चंचल राणा ने कहा कि महाप्रभु जगन्नाथ की कृपा से मैंने यह जिम्मेदारी ली है। सरकार के निर्देशानुसार, मैंने जिम्मेदारी संभाली है। रथ यात्रा की व्यवस्था को अत्यंत प्रभावी ढंग से तैयार और कार्यान्वित किया गया है। उन्होंने रथ यात्रा के आयोजन में जिला प्रशासन और विभिन्न विभागों के बीच बेहतरीन समन्वय की प्रशंसा की।