क्या पुणे की येरवडा जेल में ‘रेडियो परवाज’ महिला बंदियों के पुनर्वास के लिए एक नई दिशा है?
                                सारांश
Key Takeaways
- महिला बंदियों के लिए सकारात्मकता का संचार
 - आत्मविश्वास का विकास
 - नए कौशल की प्राप्ति
 - सशक्तीकरण के लिए कार्यक्रम
 - समाज में बदलाव की दिशा में एक कदम
 
पुणे, 3 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। सुधार और पुनर्वास को मुख्य लक्ष्य मानने वाले येरवडा केंद्रीय कारागृह में सोमवार को एक विशिष्ट और प्रेरणादायक पहल का आरंभ हुआ। इंडिया विजन फाउंडेशन, दिल्ली और एसएलबी के सहयोग से 'रेडियो परवाज' कक्ष का उद्घाटन पूर्व राज्यपाल और सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी डॉ. किरण बेदी द्वारा किया गया।
'रेडियो परवाज' का मुख्य उद्देश्य महिला बंदियों के जीवन में सकारात्मकता, आत्मविश्वास और नई दिशा का संचार करना है।
इस रेडियो पहल के अंतर्गत प्रेरणादायक भाषण, योग और ध्यान सत्र, महिला सशक्तीकरण पर चर्चाएं, कानूनी जागरूकता कार्यक्रम, साथ ही आध्यात्मिक और मनोरंजनात्मक सामग्री का प्रसारण किया जाएगा।
कार्यक्रम में इंडिया विजन फाउंडेशन के डॉ. सुधाकर शेट्टी, गोविंद सिंह, मोनिका धवन, सायना भरूचा, और हिना कुरैशी जैसे कई गणमान्य अतिथि उपस्थित थे।
इसके अलावा, एसएलबी संस्था की ओर से अबुजर, अमित यादव, जयेश प्रजापति, धीरज गुप्ता और वैभवी मनुकर ने भी सक्रिय भागीदारी की।
यह पहल डॉ. सुहास वारके, अपर पुलिस महानिदेशक एवं महानिरीक्षक (कारागृह और सुधार सेवा, महाराष्ट्र राज्य, पुणे) की विज़न से प्रारंभ की गई है।
विशेष कारागृह के महानिरीक्षक योगेश देसाई के मार्गदर्शन में इस परियोजना को आगे बढ़ाया गया है।
कार्यक्रम के सफल आयोजन में अधीक्षक सुनील ढमाळ, उप अधीक्षक पी.पी. कदम, और अधिकारियों माया धुतुरे, निर्मला बांदल, ऋताक्षी गवली और शिक्षिका वर्ग ने विशेष योगदान दिया।
यह पहल महिला बंदियों के पुनर्वास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है, जो कारागार परिसर को शिक्षा, आत्मचिंतन और सशक्तीकरण का केंद्र बनाने में सहायक हो रही है।