क्या भारत का रिटेल सेक्टर 2025 की तीसरी तिमाही में मजबूत मांग के साथ बढ़ रहा है?

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क्या भारत का रिटेल सेक्टर 2025 की तीसरी तिमाही में मजबूत मांग के साथ बढ़ रहा है?

सारांश

भारत का रिटेल सेक्टर 2025 की तीसरी तिमाही में अभूतपूर्व वृद्धि का अनुभव कर रहा है, जहाँ मांग बढ़ी है। दिल्ली-एनसीआर और हैदराबाद जैसे शहरों में लीजिंग में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। जानें इस क्षेत्र की नवीनतम स्थिति और भविष्य की संभावनाएँ।

Key Takeaways

  • भारत का रिटेल सेक्टर 2025 की तीसरी तिमाही में 65 प्रतिशत की वृद्धि पर है।
  • दिल्ली-एनसीआर ने लीजिंग में 35 प्रतिशत का योगदान दिया।
  • फैशन और अपैरल ने लीजिंग में 35 प्रतिशत का हिस्सा लिया।
  • डायरेक्ट टू कंज्यूमर ब्रांड्स अपनी रणनीतियों में निवेश कर रहे हैं।
  • नए मॉल्स और स्टोर्स का निर्माण रिटेल सेक्टर में तेजी ला रहा है।

नई दिल्ली, 14 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। भारत का रिटेल सेक्टर 2025 की तीसरी तिमाही में मजबूत मांग के साथ आगे बढ़ रहा है। इस क्षेत्र ने देश के शीर्ष 7 शहरों में 3.2 मिलियन वर्ग फुट के ग्रॉस लीजिंग के साथ सालाना आधार पर 65 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की। यह जानकारी शुक्रवार को आई एक रिपोर्ट में प्रस्तुत की गई।

कमर्शियल रियल एस्टेट फर्म जेएलएल इंडिया की एक रिपोर्ट में बताया गया है कि तीसरी तिमाही के ग्रॉस लीजिंग वॉल्यूम ने तिमाही आधार पर 22 प्रतिशत की वृद्धि दिखाई है।

दिल्ली-एनसीआर ने तीसरी तिमाही की लीजिंग में 35 प्रतिशत का योगदान दिया। यह वृद्धि दो नए निर्मित मॉल्स की वजह से हुई है।

इसके अतिरिक्त, इस तिमाही के दौरान भारत की लीजिंग ने इसके 9 महीनों की ग्रॉस लीजिंग को बढ़ाकर 8.9 मिलियन वर्ग फुट कर दिया, जो 2024 के पूरे वर्ष के 110 प्रतिशत के बराबर रहा।

दिल्ली-एनसीआर और हैदराबाद में 1.5 मिलियन वर्ग फुट के नए सप्लाई के साथ, वे रिटेलर्स जो कम सप्लाई के कारण अपने फुटप्रिंट का विस्तार नहीं कर पा रहे थे, उन्होंने महत्वपूर्ण माइक्रो मार्केट में नए स्टोर खोलने के साथ अपनी योजनाओं को आगे बढ़ाया।

तीसरी तिमाही की लीजिंग में दिल्ली के बाद हैदराबाद का स्थान 12 प्रतिशत रहा। वहीं, मुंबई ने 0.6 मिलियन वर्ग फुट और बेंगलुरू ने 0.4 मिलियन वर्ग फुट के रिटेल स्पेस को टेक-अप किया।

रिलीज में दी गई जानकारी के अनुसार, सितंबर तिमाही के दौरान फैशन और अपैरल ने लीजिंग के 35 प्रतिशत का योगदान दिया। इसके बाद 16 प्रतिशत शेयर के साथ फूड और बेवरेजेस का स्थान रहा। डेली नीड्स और ग्रॉसरी ने लीजिंग के 11 प्रतिशत का योगदान दिया।

जेएलएल के चीफ इकोनॉमिस्ट और रिसर्च एंड आरईआईएस इंडिया हेड डॉ. सामंतक दास ने कहा, "तीसरी तिमाही में सबसे अधिक मांग डेली नीड्स और ग्रॉसरी रिटेलर्स की ओर से देखी गई।"

रिलीज में बताया गया है कि डायरेक्ट टू कंज्यूमर ब्रांड अपनी क्लिक एंड मोर्टार रणनीतियों में निवेश कर रहे हैं। इसके साथ ही, वे फैशन एंड अपैरल, ज्वैलरी, कॉस्टमैटिक्स एंड वेलनैस जैसी श्रेणियों में अपने फिजिकल स्टोर की उपलब्धता को तेजी से बढ़ा रहे हैं।

Point of View

भारत का रिटेल सेक्टर लगातार बढ़ रहा है, जो न केवल आर्थिक विकास का संकेत है, बल्कि उपभोक्ता मांग और बाजार की स्थिति को भी दर्शाता है। यह वृद्धि न सिर्फ निवेशकों के लिए अवसर पैदा कर रही है, बल्कि रोजगार में भी वृद्धि कर रही है।
NationPress
14/11/2025

Frequently Asked Questions

भारत के रिटेल सेक्टर में वृद्धि का मुख्य कारण क्या है?
भारत के रिटेल सेक्टर में वृद्धि का मुख्य कारण उपभोक्ता मांग में वृद्धि और नए मॉल्स का निर्माण है।
दिल्ली-एनसीआर का रिटेल लीजिंग में योगदान कितना है?
दिल्ली-एनसीआर ने तीसरी तिमाही की लीजिंग में 35 प्रतिशत का योगदान दिया है।