क्या वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में लार्जकैप कंपनियों ने स्मॉलकैप और मिडकैप कंपनियों को पीछे छोड़ दिया?

सारांश
Key Takeaways
- लार्जकैप कंपनियों ने स्मॉलकैप और मिडकैप कंपनियों की तुलना में बेहतर प्रदर्शन किया है।
- आय वृद्धि में लार्जकैप कंपनियों की दर 6 प्रतिशत रही।
- मिडकैप कंपनियों की आय में 2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
- स्मॉलकैप कंपनियों की आय में 16 प्रतिशत की गिरावट आई।
- रिटेल, फार्मा, और कंज्यूमर ड्यूरेबल्स का प्रदर्शन अच्छा रहा।
मुंबई, 14 जून (राष्ट्र प्रेस)। वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में लार्जकैप कंपनियों की आय वृद्धि दर स्मॉलकैप और मिडकैप कंपनियों की तुलना में बेहतर दिखाई दी है। यह जानकारी एक ब्रोकरेज फर्म की रिपोर्ट में दी गई है।
इक्विरस सिक्योरिटीज की इस रिपोर्ट में 270 कंपनियों का विश्लेषण किया गया है, जिसमें बताया गया है कि वैश्विक आर्थिक उतार-चढ़ाव के बीच भी लार्जकैप कंपनियों का प्रदर्शन मजबूत बना रहा है और उनकी आय तथा मुनाफा दोनों ही उम्मीद से अधिक रहे हैं।
रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है कि इक्विरस द्वारा ट्रैक की गई कंपनियों के समूह का ईबीआईटीडीए और आय, विश्लेषकों के पूर्वानुमान से क्रमशः 4 प्रतिशत और 5 प्रतिशत अधिक रही।
रिपोर्ट के अनुसार, कंपनियों के ईबीआईटीडीए में 6 प्रतिशत और आय में 4 प्रतिशत की वृद्धि हुई है, जबकि आय वृद्धि पिछले वर्ष की इसी तिमाही की तुलना में 5 प्रतिशत अधिक रही।
इक्विरस सिक्योरिटीज के अनुसार, लार्जकैप कंपनियों की आय वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में सालाना आधार पर 6 प्रतिशत बढ़ी है, जबकि इस अवधि में मिडकैप कंपनियों की आय में 2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और स्मॉलकैप कंपनियों की आय में 16 प्रतिशत की गिरावट आई है।
रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि यदि ऑयल मार्केटिंग कंपनियों (ओएमसी) को हटा दिया जाए तो वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में अन्य सेक्टर की कंपनियों के ईबीआईटीडीए और आय में क्रमश: 5 और 3 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।
वहीं, यदि बैंकिंग, फाइनेंशियल सर्विसेज और इंश्योरेंस (बीएफएसआई) को हटा दिया जाए तो वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में अन्य कंपनियों में ईबीआईटीडीए और आय में क्रमश: 7 और 6 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है।
वित्त वर्ष 25 की चौथी तिमाही में रिटेल, फार्मा, कैपिटल गुड्स और कंज्यूमर ड्यूरेबल्स का प्रदर्शन अच्छा रहा। हालांकि, एफएमसीजी, इन्फ्रास्ट्रक्चर, आईटी और ऑटो सेक्टर्स की वृद्धि दर चौथी तिमाही में कमजोर रही है।
चालू वित्त वर्ष (वित्त वर्ष 26) के लिए रिपोर्ट में शामिल लगभग 28 प्रतिशत कंपनियों के प्रति शेयर आय (ईपीएस) पूर्वानुमान को अपग्रेड किया गया है।
इस अपग्रेड का नेतृत्व कैपिटल मार्केट्स, केमिकल, डिफेंस, मेटल और टेक्सटाइल ने किया है।