क्या चीन में आर्थिक संचालन स्थिर बना हुआ है?

सारांश
Key Takeaways
- 14वीं पंचवर्षीय योजना का अंतिम वर्ष है।
- चीन की जीडीपी में 5.3 प्रतिशत की वृद्धि।
- उपभोक्ता खर्च आर्थिक विकास की मुख्य प्रेरक शक्ति है।
- घरेलू मांग ने जीडीपी में 68.8 प्रतिशत का योगदान दिया।
- अनुसंधान और विकास का जीडीपी में हिस्सा 2.7 प्रतिशत है।
बीजिंग, 17 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। इस वर्ष 14वीं पंचवर्षीय योजना का अंतिम वर्ष है। चीनी अर्थव्यवस्था के विकास पर विशेष ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। इस वर्ष की पहली छमाही के आर्थिक आंकड़े हाल ही में जारी किए गए हैं।
पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में इस वर्ष की पहली छमाही में चीन की जीडीपी में 5.3 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है। वस्तुओं के आयात और निर्यात में 2.9 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।
इस वर्ष अंतर्राष्ट्रीय वातावरण में जटिल परिवर्तन के कारण अंतर्राष्ट्रीय आर्थिक और व्यापारिक व्यवस्था को गंभीर नुकसान हुआ है, जिससे अस्थिरता और अनिश्चितता बढ़ी है। विशेष रूप से दूसरी तिमाही में अंतर्राष्ट्रीय स्थिति में तेजी से बदलाव आया है और बाहरी दबाव में काफी वृद्धि हुई है। इस स्थिति में, चीनी अर्थव्यवस्था ने दबाव को दूर करने और मजबूत लचीलापन प्रदर्शित किया है।
आंकड़ों के अनुसार, आर्थिक वृद्धि में अंतिम उपभोग व्यय का अनुपात 52 प्रतिशत रहा है। इससे स्पष्ट है कि उपभोग आर्थिक विकास की मुख्य प्रेरक शक्ति बना हुआ है। इसके साथ ही, घरेलू मांग ने जीडीपी की वृद्धि में 68.8 प्रतिशत का योगदान दिया है, जो दर्शाता है कि घरेलू मांग जीडीपी की वृद्धि की प्रमुख प्रेरक शक्ति है।
वहीं, पहली छमाही में आर्थिक विकास में कई नई उपलब्धियां भी सामने आईं हैं। आंकड़ों के अनुसार, अब चीन में अनुसंधान और विकास का जीडीपी में लगभग 2.7 प्रतिशत हिस्सा है, जो यूरोपीय संघ के औसत स्तर से अधिक है और ओईसीडी देशों के औसत स्तर के करीब है।
(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)