क्या भाजपा बंटवारे की राजनीति के लिए घुसपैठ जैसे मुद्दों को उठा रही है? : फखरुल हसन
Key Takeaways
- भाजपा पर बंटवारे की राजनीति का आरोप।
- घुसपैठ के मुद्दे पर गंभीर विचार।
- भाजपा और समाजवादी पार्टी के बीच बढ़ती राजनीतिक टकराव।
- चुनावों में बूथ कैप्चरिंग का मुद्दा।
- सरकार की जिम्मेदारी पर सवाल।
लखनऊ, 10 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता फखरुल हसन चांद ने बुधवार को भाजपा पर बंटवारे की राजनीति करने का गंभीर आरोप लगाया।
फखरुल हसन चांद ने घुसपैठ के मुद्दे पर कहा, "भाजपा की सरकार केवल रोहिंग्या और घुसपैठियों की चर्चा करती है। अगर हम जमीनी हकीकत को देखें तो पाकिस्तान से बांग्लादेश के रास्ते भारत में घुसपैठ करने आई सीमा हैदर के बड़े-बड़े इंटरव्यू कैसे कराए जाते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि वह भाजपा की विचारधारा का समर्थन करती है। सरकार घुसपैठ के नाम पर उन लोगों को बाहर कर रही है, जिन्हें देश की सबसे बड़ी अदालत वापस बुला लेती है। यह भाजपा का राजनीतिक मुद्दा है, और वे केवल बंटवारे की राजनीति के लिए ऐसे मुद्दे उठाते हैं, पूरा देश इस बात को जानता है।"
एसआईआर के मुद्दे पर सपा प्रवक्ता ने कहा, "जिस तरह से उत्तर प्रदेश के उपचुनाव में एडवांस बूथ कैप्चरिंग देखी गई है, वोटर्स को कहीं डंडे और कहीं बंदूक के दम पर रोकने का काम किया गया। उन्हें बाहर नहीं निकलने दिया गया। इसी तरह भाजपा ने चुनाव जीते। यही कारण है कि अखिलेश यादव ने कहा कि जिन विधानसभा क्षेत्रों में भाजपा डंडे और बंदूक के दम पर जीती थी, वहां पर उन्हें 2027 में हार का सामना करना पड़ेगा। वहीं चुनाव आयोग की चुप्पी के कारण समाजवादी पार्टी क्या, जनता को भी अब भरोसा नहीं है।"
उन्होंने इंडिगो संकट पर कहा, "सरकार अपनी जिम्मेदारी से बच नहीं सकती। लोग परेशान हैं। उन्हें एक राज्य से दूसरे राज्य आने के लिए सड़क मार्ग का सहारा लेना पड़ा। ऐसे मरीज जिन्हें इलाज के लिए दूसरी जगह जाना था, उन्हें परेशानी उठानी पड़ी। बच्चों और महिलाओं को भी परेशानी हुई। बढ़ा हुआ किराया लिया गया। इन सभी चीजों के लिए सरकार जिम्मेदार है। सरकार को बढ़े हुए किराए भी वापस करने चाहिए।"
हसन ने कांग्रेस नेता सोनिया गांधी के नागरिकता से पहले वोटर बनने के मामले पर सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा, "भाजपा की सरकार, उनसे जुड़े लोग और संगठन लगातार विपक्ष के खिलाफ साजिश रचते हैं। उनके खिलाफ याचिकाएं दाखिल करते हैं और न्यायालय भी इस पर संज्ञान लेता है। आज वे सोनिया गांधी पर सवाल उठा रहे हैं, कल राहुल गांधी पर सवाल उठाया था और बाद में किसी और पर सवाल उठाएंगे। उनका ऐसा चरित्र बन गया है कि वे विपक्ष पर लगातार सवाल उठाते हैं।"