क्या बीजापुर में सीआरपीएफ की बीडीएस टीम ने पांच आईईडी बरामद कर उन्हें नष्ट किया?

सारांश
Key Takeaways
- सीआरपीएफ की BDS टीम ने 5 आईईडी बरामद किए।
- यह कार्रवाई सुरक्षा बलों की सतर्कता को दर्शाती है।
- नक्सलियों के खिलाफ सुरक्षा बलों की रणनीति प्रभावी है।
- क्षेत्र में सुरक्षा की स्थिति में सुधार हो रहा है।
- सुरक्षा बलों का कार्यक्षेत्र बढ़ रहा है।
बीजापुर, 22 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित बीजापुर जिले में सुरक्षाबलों को एक महत्वपूर्ण सफलता प्राप्त हुई है। सीआरपीएफ की BDS (बॉम्ब डिस्पोजल स्क्वॉड) टीम ने नक्सलियों द्वारा लगाए गए पांच खतरनाक आईईडी (इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस) को बरामद कर उन्हें सुरक्षित ढंग से नष्ट कर दिया। यह कार्रवाई भोपालपटनम थाना क्षेत्र के चिल्लामरका और कांडलापर्ती के जंगलों में की गई।
जिले के भोपालपटनम ब्लॉक के नेशनल पार्क क्षेत्र में स्थित चिल्लामरका कैंप से 214वीं बटालियन सीआरपीएफ, 206वीं कोबरा यूनिट, स्थानीय डीआरजी और बॉम्ब डिस्पोजल स्क्वॉड की संयुक्त टीम एक एरिया डॉमिनेशन अभियान पर निकली थी।
टीम ने चिल्लामरका से कांडलापर्ती की ओर बढ़ते समय लगभग 4 किलोमीटर दूर एक नाले को पार करने के बाद संदिग्ध गतिविधियों का आभास होते ही क्षेत्र की गहन तलाशी ली। इस दौरान, 214वीं बटालियन की BDS टीम ने क्रमवार पांच आईईडी बरामद किए।
सूत्रों के अनुसार, नक्सलियों ने इन आईईडी को सुरक्षा बलों को नुकसान पहुँचाने के उद्देश्य से जंगल के भीतर छिपाकर लगाया था। घने जंगल और दुर्गम पहाड़ी इलाके को ध्यान में रखते हुए ये विस्फोटक अत्यधिक खतरनाक तरीके से लगाए गए थे ताकि सुरक्षाबलों की गतिविधियों के दौरान उन्हें भारी नुकसान हो सके।
हालांकि, सतर्कता और सटीक खोजबीन के कारण BDS टीम ने इन सभी आईईडी को समय पर पहचानकर निष्क्रिय कर दिया।
इस बीच, नारायणपुर जिले के अभूझमाड़ क्षेत्र में सोमवार को सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ में दो प्रमुख माओवादियों को मार गिराया। इन दोनों पर छत्तीसगढ़ सरकार ने 40-40 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। मुठभेड़ में मारे गए माओवादियों की पहचान सीपीआई (माओवादी) की केंद्रीय समिति के सदस्य राजू दादा उर्फ कट्टा रामचंद्र रेड्डी और कोसा दादा उर्फ कादरी सत्यनारायण रेड्डी के रूप में हुई। ये दोनों तेलंगाना के करीमनगर जिले के निवासी थे और पिछले तीन दशकों से दंडकारण्य विशेष क्षेत्रीय समिति के तहत सक्रिय माओवादी गतिविधियों में शामिल थे।
--आईएएनएश
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