क्या राहुल गांधी ने भारत जोड़ो यात्रा किसी चुनाव प्रचार के लिए की?
सारांश
Key Takeaways
- राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा चुनाव प्रचार नहीं है।
- महागठबंधन को जनता का समर्थन प्राप्त है।
- बिहार में बदलाव की लहर चल रही है।
- सरकारी कर्मचारियों की पुरानी पेंशन योजना की मांग।
- केंद्र सरकार को विपक्ष से सलाह लेनी चाहिए।
भागलपुर, 4 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार चुनाव पर मंत्री दीपिका पांडे सिंह ने कहा कि पहले चरण का चुनाव प्रचार रुक गया है। इस चरण के लिए बने माहौल ने महागठबंधन को लगातार मज़बूती प्रदान की है। जमीनी स्तर पर लोगों से सकारात्मक प्रतिक्रिया मिल रही है।
उन्होंने बताया कि पिछले 20 वर्षों में लोगों की जो उम्मीदें इस सरकार से थीं कि शायद अगली बार हालात में सुधार होगा, वे कभी पूरी नहीं हुईं। आज सरकारी कर्मचारी भी पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग कर रहे हैं।
झारखंड की मंत्री दीपिका पांडे सिंह ने राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा पर कहा कि यह आनंद उठाने का अवसर नहीं है। महात्मा गांधी के बाद देश में किसी नेता ने इतनी लंबी दूरी पैदल नहीं तय की। राहुल गांधी ने यह यात्रा किसी चुनाव प्रचार के लिए नहीं की।
दीपिका पांडे ने कहा कि राहुल गांधी ने देश में धर्म और जाति के नाम पर फैलाए जा रहे दर्द और विभाजन को समझा है। मणिपुर में जो हुआ, वह हम सबने देखा है। इसलिए राहुल गांधी यह यात्रा आनंद के लिए नहीं कर रहे हैं।
इससे पूर्व विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) पर मंत्री दीपिका पांडे ने कहा कि जिस तरह से इसे बिहार में लागू किया जा रहा है, वह बेहद चिंताजनक है। यह देश के हर नागरिक के लिए एनआरसी जैसा है। केंद्र सरकार को ऐसी योजनाएं शुरू करने से पहले विपक्ष से सलाह लेनी चाहिए। उन्हें राहुल गांधी की बात सुननी चाहिए क्योंकि उन्होंने जो कुछ कहा है, वह सही साबित हो रहा है, जिससे केंद्र को यू-टर्न लेने पर मजबूर होना पड़ रहा है।
झारखंड की ग्रामीण विकास मंत्री दीपिका पांडेय सिंह ने हाल में बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर बड़ा दावा किया था। उन्होंने कहा था कि इस बार बिहार में महागठबंधन की सरकार बनेगी। एनडीए के '400 पार' जैसे दावों को जनता ने पहले ही नकार दिया है।
दीपिका पांडेय सिंह ने पत्रकारों से बात करते हुए एनडीए पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि बिहार की जनता बदलाव के पक्ष में वोट देने वाली है और आने वाले दिनों में वहां बड़ा उलटफेर होगा। एनडीए की जीत के दावे, जैसे 400 पार, अब जनता के सामने बेनकाब हो चुके हैं। इस बार बिहार में जनता का अपार स्नेह और समर्थन महागठबंधन को मिल रहा है।