दिल्ली दंगा मामला: क्या सुप्रीम कोर्ट में उमर खालिद-शरजील इमाम की जमानत पर सुनवाई फिर से शुरू होगी?

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दिल्ली दंगा मामला: क्या सुप्रीम कोर्ट में उमर खालिद-शरजील इमाम की जमानत पर सुनवाई फिर से शुरू होगी?

सारांश

दिल्ली दंगा मामले में उमर खालिद और शरजील इमाम की जमानत याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू होने जा रही है। क्या उन्हें जमानत मिलेगी या नहीं? जानिए इस मामले की पूरी जानकारी।

Key Takeaways

  • सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई 18 नवंबर को होगी।
  • उमर खालिद और शरजील इमाम पर आरोप लगाए गए हैं कि उन्होंने दंगों की साजिश की।
  • दिल्ली पुलिस ने विस्तृत हलफनामा पेश किया है।
  • सीएए मुद्दे को लेकर अंतरराष्ट्रीय ध्यान खींचने का आरोप।
  • इससे पहले, दिल्ली हाई कोर्ट ने उनकी जमानत याचिकाएं खारिज की थीं।

नई दिल्ली, 17 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। सुप्रीम कोर्ट मंगलवार को 2020 के उत्तर पूर्वी दिल्ली दंगों के पीछे की कथित बड़ी साजिश में आरोपी छात्र नेताओं उमर खालिद, शरजील इमाम, गुलफिशा फातिमा और अन्य कार्यकर्ताओं की जमानत याचिकाओं पर सुनवाई फिर से शुरू करने वाला है।

इन सभी छात्र नेताओं को कड़े गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत सलाखों के पीछे रखा गया है।

सर्वोच्च न्यायालय की वेबसाइट पर प्रकाशित सूची के अनुसार, जस्टिस अरविंद कुमार और जस्टिस एनवी अंजारिया की पीठ 18 नवंबर को दिल्ली पुलिस के प्रतिनिधि विधि अधिकारियों की दलीलें सुनेगी।

दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद और शरजील इमाम की जमानत याचिकाओं का विरोध करते हुए सुप्रीम कोर्ट में एक विस्तृत जवाबी हलफनामे में कहा है कि दोनों ने 2020 के दंगों की साजिश को पूर्व नियोजित और सावधानीपूर्वक तरीके से अंजाम दिया।

हलफनामे में उमर खालिद को प्रमुख साजिशकर्ताओं में से एक और शरजील इमाम को संरक्षक के रूप में वर्णित किया गया है, जो छात्रों को जुटाने, विरोध नेटवर्क बनाने और प्रदर्शन स्थलों का चयन करने में शामिल थे।

दिल्ली पुलिस के अनुसार, यह साजिश उस समय रची गई थी जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भारत की आधिकारिक यात्रा पर आने वाले थे, ताकि अंतरराष्ट्रीय मीडिया का ध्यान खींचा जा सके और सीएए के मुद्दे को वैश्विक स्तर पर बड़ा मामला बनाया जा सके।

सीएए को जानबूझकर एक मुद्दा बनाया गया जिसे “शांतिपूर्ण प्रदर्शन” के नाम पर लोगों को भड़काने के लिए इस्तेमाल किया गया।

हलफनामे में शरजील इमाम को उमर खालिद के अधीन कार्य करने वाला बड़ा साजिशकर्ता बताया गया है, जिसने 13 से 20 दिसंबर 2019 के बीच दिल्ली में हुई पहली फेज की गड़बड़ियों को आयोजित किया।

इससे पहले, दिल्ली हाई कोर्ट ने शरजील इमाम, उमर खालिद और 2020 के दिल्ली दंगों से संबंधित कई अन्य आरोपियों की जमानत याचिकाएं खारिज कर दी थीं।

Point of View

बल्कि सामाजिक स्थिरता के लिए भी आवश्यक है। इस मामले में निर्णय का प्रभाव व्यापक होगा, इसलिए सभी पक्षों को उचित सुनवाई का अवसर मिलना चाहिए।
NationPress
17/11/2025

Frequently Asked Questions

दिल्ली दंगा मामले में जमानत याचिकाएं कब सुनवाई के लिए पेश होंगी?
जमानत याचिकाओं पर सुनवाई 18 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट में होगी।
कौन-कौन से छात्र नेता इस मामले में आरोपी हैं?
इस मामले में आरोपी छात्र नेताओं में उमर खालिद, शरजील इमाम, और गुलफिशा फातिमा शामिल हैं।
दिल्ली पुलिस का क्या कहना है इस मामले में?
दिल्ली पुलिस ने आरोप लगाया है कि उमर खालिद और शरजील इमाम ने दंगों की साजिश पूर्व नियोजित तरीके से बनाई।
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