दिल्ली में प्रदूषण के खिलाफ अभियान क्यों तेज हुआ? एक दिन में 28 बसें कैसे जब्त की गईं?
सारांश
Key Takeaways
- प्रदूषण के खिलाफ सख्त प्रवर्तन कार्रवाई
- 28 बसों की जब्ती
- 4927 गाड़ियों की जांच
- गलत पीयूसी सेंटर्स पर कार्रवाई
- नागरिकों की सुविधाओं का ध्यान
नई दिल्ली, 26 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। दिल्ली में वायु प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई को और तेज किया गया है। दिल्ली ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट ने उत्सर्जन मानकों का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने के लिए प्रवर्तन गतिविधियों को बढ़ा दिया है। केवल एक दिन में 28 बसें, जो सामान ले जा रही थी, ज़ब्त की गई हैं। एक दिसंबर से अब तक प्रदूषण नियमों के उल्लंघन पर लगभग 100 बसों के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
पिछले 24 घंटे में एनफोर्समेंट एजेंसियों ने दिल्ली भर में व्यापक चेकिंग अभियान चलाया। इस दौरान 4927 गाड़ियों की जांच की गई, जिसमें दिल्ली ट्रैफिक पुलिस द्वारा पीयूसीसी के तहत 2390 चालान किए गए। ट्रांसपोर्ट एनफोर्समेंट ने 285 चालान जारी किए, जबकि एएनपीआर कैमरों से 1114 चालान हुए। इसके साथ ही ग्रेप नियमों का उल्लंघन करने पर 11 वाहनों पर कार्रवाई की गई। कुल मिलाकर 238 वाहनों को नियमों का पालन करने के निर्देश के साथ वापस किया गया।
दिल्ली ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट ने गलत तरीके से कार्यरत प्रदूषण नियंत्रण केंद्रों के खिलाफ भी कठोर कदम उठाए हैं। अब तक 28 पीयूसी सेंटर्स को सस्पेंड किया गया है, और दो का लाइसेंस रद्द किया गया है। एक अन्य पीयूसी सेंटर के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई है।
दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता जी के दृष्टिकोण को सशक्त करते हुए परिवहन मंत्री पंकज कुमार सिंह ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वे पीयूसी सेंटर्स का निरीक्षण करें ताकि वाहन मालिकों को कोई कठिनाई नहीं हो।
पंकज कुमार सिंह ने कहा कि प्रदूषण के खिलाफ इस लड़ाई में सख्त प्रवर्तन और नागरिक सुविधाओं का ध्यान दोनों महत्वपूर्ण हैं। सरकार की प्राथमिकता दिल्ली के लिए साफ हवा और पारदर्शी सरकारी सेवाएं सुनिश्चित करना है।
उत्तर प्रदेश और हरियाणा के ट्रांसपोर्ट विभाग से अपील की गई है कि वे भी नियम तोड़ने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करें। इस बीच प्रमुख स्थानों पर सघन एनफोर्समेंट ड्राइव चलाए गए हैं।