क्या सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों को अनुमति दी है?

सारांश
Key Takeaways
- सुप्रीम कोर्ट ने ग्रीन पटाखों को अनुमति दी है।
- बिक्री 18 से 25 अक्टूबर तक होगी।
- केवल क्यूआर कोड वाले पटाखों की बिक्री होगी।
- प्रदूषण कम करने के लिए समय सीमा निर्धारित की गई है।
- ई-कॉमर्स पर बिक्री प्रतिबंधित है।
नई दिल्ली, 15 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। सुप्रीम कोर्ट ने दीपावली के अवसर पर दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों की बिक्री और उपयोग की अनुमति दी है, लेकिन इसके लिए कई कठोर शर्तें भी निर्धारित की गई हैं।
मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई और न्यायमूर्ति विनोद चंद्रन की पीठ ने यह महत्वपूर्ण आदेश सुनाया। कोर्ट ने कहा कि पारंपरिक पटाखों की तुलना में ग्रीन पटाखे पर्यावरण को कम नुकसान पहुँचाते हैं, इसलिए सीमित और नियंत्रित उपयोग की अनुमति दी जा सकती है।
सीजेआई बीआर गवई ने कहा कि अदालत ने इस विषय पर सॉलिसिटर जनरल और एमिकस क्यूरी के सुझावों पर विचार किया है। उन्होंने कहा, "हम समझते हैं कि उद्योग जगत की भी चिंताएँ हैं। पारंपरिक पटाखों का इस्तेमाल बढ़ रहा है, जिससे प्रदूषण और अधिक बढ़ता है। इसलिए हमें एक संतुलित दृष्टिकोण अपनाना होगा।"
हरियाणा के 22 जिलों में से 14 जिले एनसीआर क्षेत्र में आते हैं। उन्होंने कहा कि जब पटाखों पर प्रतिबंध लगाया गया था, तो कोविड काल को छोड़कर वायु गुणवत्ता में बहुत बड़ा सुधार देखने को नहीं मिला। वहीं, पिछले छह वर्षों में ग्रीन पटाखों के आने से प्रदूषण के स्तर में काफी कमी आई है।
सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया है कि 18 अक्टूबर से 25 अक्टूबर 2025 तक दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों की बिक्री की जा सकती है। हालांकि, यह बिक्री केवल क्यूआर कोड वाले ग्रीन पटाखों की ही होगी।
ग्रीन पटाखों के इस्तेमाल के लिए भी सुप्रीम कोर्ट ने समय सीमा तय की है। लोग इन्हें केवल शाम 6 बजे से रात 10 बजे तक ही जलाने की अनुमति होगी।
कोर्ट ने कहा कि पुलिस अधिकारी गश्ती दल बनाएंगे, जो यह सुनिश्चित करेंगे कि बाजार में केवल प्रमाणित ग्रीन पटाखे ही बिकें। अगर कोई नियम तोड़ेगा, तो उसके खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाएगी और नोटिस जारी किया जाएगा।
इसके साथ ही, कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि ई-कॉमर्स वेबसाइटों जैसे अमेजन या फ्लिपकार्ट आदि पर पटाखों की ऑनलाइन बिक्री पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगी।