क्या गयाजी में पितृ पक्ष मेले का जायजा लेने निकले जिलाधिकारी शशांक शुभंकर?

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क्या गयाजी में पितृ पक्ष मेले का जायजा लेने निकले जिलाधिकारी शशांक शुभंकर?

सारांश

गयाजी में पितृ पक्ष मेले का आयोजन हो रहा है, जहां श्रद्धालु अपने पूर्वजों के लिए तर्पण कर रहे हैं। जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने पिंडदानी के लिए सुविधाओं का निरीक्षण किया। इस लेख में जानें मेले की तैयारियों और जिलाधिकारी के निरीक्षण की विशेषताएं।

Key Takeaways

  • गयाजी में पितृ पक्ष मेला आयोजित किया जा रहा है।
  • जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने पैदल निरीक्षण किया।
  • श्रद्धालुओं के लिए सुविधाएं जैसे स्नानागर, टॉयलेट और चेंजिंग रूम उपलब्ध हैं।
  • पंडितों को नदी में पूजन सामग्री प्रवाहित नहीं करने की सलाह दी गई है।
  • प्रशासन ने भीड़ प्रबंधन और सफाई पर ध्यान दिया है।

गयाजी, 7 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। मोक्षस्थली बिहार के गयाजी में पितृ पक्ष मेले में पिंडदानी अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति और मोक्ष की प्राप्ति की इच्छा के साथ पहुंचने लगे हैं। विष्णुपद और सीताकुंड पर श्रद्धालुओं की बड़ी भीड़ इकट्ठा हो गई है।

इस बीच, गयाजी के जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने तीर्थयात्रियों को बेहतर से बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पैदल ही मेला क्षेत्र का निरीक्षण किया। उनके साथ वरीय पुलिस अधीक्षक आनंद कुमार भी मौजूद थे।

जिलाधिकारी ने विष्णुपथ से सीधे देवघाट होते हुए गयाजी डैम तक संकीर्ण गलियों से होते हुए मंदिर प्रांगण, मंदिर परिसर, संवाद सदन से चांद चौरा मोड़ तक पैदल यात्रा की। उन्होंने रास्ते में लगे विभिन्न प्रशासनिक शिविरों का निरीक्षण किया और कड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि दूरदराज से आए सभी तीर्थ यात्रियों की सेवा पूरी ईमानदारी से करें।

इस क्रम में उन्होंने विष्णुपद संवाद सदन के पास भीड़ प्रबंधन भी किया। उन्होंने देवघाट, गया जी डैम, गजाधर घाट, शमशाम घाट, विष्णुपथ पहुंचकर विभिन्न स्नानगार, टॉयलेट एवं चेंजिंग रूम की सफाई व्यवस्था को देखा और नियमित सफाई कराने के निर्देश भी दिए।

जिलाधिकारी ने पंडितों और आचार्यों से यात्रियों से पूजन सामग्री नदी में प्रवाहित नहीं करवाने की अपील करते हुए कहा कि घाट पर पर्याप्त पीट बनवाए गए हैं और पर्याप्त डस्टबिन भी हैं। उसी में तर्पण सामग्री को प्रवाहित करें।

उन्होंने एसडीआरएफ की टीम को भी अलर्ट रहने के निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान जिला पदाधिकारी ने पितृ पक्ष मेला के नोडल पदाधिकारी को निर्देश दिया कि सभी जोनल एवं सेक्टर पदाधिकारी को निर्देशित करें कि प्रत्येक दिन अपनी पाली वार संबंधित प्रतिनियुक्ति स्थान पर रहकर अपनी उपस्थिति की फोटो पितृ पक्ष मेला व्हाट्सएप ग्रुप पर भेजना सुनिश्चित करें।

जिलाधिकारी ने स्वास्थ्य शिविर का भी निरीक्षण किया। प्रत्येक शिफ्ट में पांच चिकित्सकों की टीम उपस्थित पाई गई। उन्होंने कहा कि ज्यादातर यात्री काफी बुजुर्ग होते हैं और उन्हें स्वास्थ्य संबंधित समस्याएं रहती हैं, उन सभी का अपने कार्य अनुभव पर अच्छे से उपचार करें। डीएम ने देवघाट में यात्रियों के लिए बनाए गए टॉयलेट का भी निरीक्षण किया।

उन्होंने विष्णुपद मंदिर के गर्भगृह निरीक्षण के दौरान सोलह वेदी स्थल के समीप किसी भी तरह की फिसलन न हो, इसके लिए निरंतर सफाई का निर्देश दिया।

Point of View

जहां श्रद्धालु अपने पूर्वजों के प्रति श्रद्धा व्यक्त करते हैं। जिलाधिकारी का सक्रिय निरीक्षण दर्शाता है कि प्रशासन इस धार्मिक आयोजन को सुचारू और सुरक्षित बनाने के लिए पूरी तरह से तत्पर है।
NationPress
07/09/2025

Frequently Asked Questions

पितृ पक्ष मेला कब मनाया जाता है?
पितृ पक्ष मेला हर वर्ष आश्विन मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से लेकर पूर्णिमा तक मनाया जाता है।
गयाजी में पितृ पक्ष मेला क्यों महत्वपूर्ण है?
यह मेला तीर्थयात्रियों के लिए मोक्ष और उनके पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए महत्वपूर्ण है।
जिलाधिकारी का निरीक्षण क्यों किया गया?
जिलाधिकारी ने तीर्थयात्रियों की सुविधाओं और सफाई व्यवस्था का निरीक्षण करने के लिए पैदल यात्रा की।
क्या प्रशासन ने श्रद्धालुओं के लिए कोई विशेष सुविधाएं प्रदान की हैं?
हां, प्रशासन ने स्नान, टॉयलेट, और चेंजिंग रूम जैसी सुविधाएं उपलब्ध कराई हैं।
क्या पंडितों को कोई विशेष निर्देश दिए गए हैं?
हाँ, पंडितों से अपील की गई है कि वे पूजन सामग्री को नदी में प्रवाहित न करें।