क्या इंडिगो संकट पर वाईएसआरसीपी नेता ने नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू का इस्तीफा मांगा?
सारांश
Key Takeaways
- इंडिगो फ्लाइटों में देरी और रद्दीकरण से यात्रियों में हाहाकार।
- वाईएसआरसीपी नेता का मंत्री से इस्तीफे की मांग।
- सांसद प्रमोद तिवारी ने गंभीर आरोप लगाए।
- सरकार को इस मुद्दे पर त्वरित कार्रवाई करने की आवश्यकता।
- इंडिगो एयरलाइंस के वरिष्ठ अधिकारियों ने गड़बड़ी के कारणों की जांच की बात कही।
नई दिल्ली, 8 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। इंडिगो फ्लाइट में देरी और कैंसिलेशन से यात्री जहां परेशान हैं, वहीं इस मुद्दे पर राजनीतिक हलचल भी तेज हो गई है। इस संदर्भ में युवजन श्रमिक रायथू कांग्रेस पार्टी (वाईएसआरसीपी) के प्रवक्ता मोहम्मद शरीफ ने केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू से इस्तीफे की मांग की है।
मोहम्मद शरीफ ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में आरोप लगाया कि केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू स्थिति को संभालने में विफल रहे हैं। उन्होंने एविएशन सेक्टर को उचित तरीके से प्रबंधित नहीं किया और एयरपोर्ट पर फंसे हजारों यात्रियों की समस्याओं को नजरअंदाज किया। उन्होंने यह भी कहा कि मंत्री एयरपोर्ट पर जाने या स्थिति को संभालने के बजाय पब्लिसिटी के लिए रील्स बनाने में व्यस्त रहे।
इस बीच, कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा, "मेरे सप्लीमेंट्री सवाल में यह था कि पिछले चार-पांच दिनों में फ्लाइट कैंसिल होने के कारण यात्रियों को अपनी मंजिल तक पहुंचने में कठिनाई हुई है। कई बीमार लोग यात्रा नहीं कर पाए और कुछ लोग अपने प्रियजनों के शव लेकर अंतिम संस्कार के लिए नहीं पहुंच सके। यह सब एक घोटाला के कारण हुआ है, जिसमें इंडिगो को 64 प्रतिशत मोनोपॉली दी गई। मेरा मानना है कि इस मामले की जांच सुप्रीम कोर्ट की देखरेख में मौजूदा जज द्वारा की जानी चाहिए।
इंडिगो एयरलाइंस की सेवाओं में लगातार गड़बड़ी के चलते कई राज्यों में फ्लाइट ऑपरेशन बुरी तरह प्रभावित हुए हैं, जिससे एयरलाइन की सैकड़ों उड़ानें रद्द कर दी गईं। एयरलाइन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि इंडिगो उड़ान में गड़बड़ी के कारणों का विश्लेषण किया जाएगा।