क्या जीतनराम मांझी हमेशा एनडीए को मजबूत बनाने के बारे में सोचते हैं? : मंत्री दिलीप जायसवाल
सारांश
Key Takeaways
- जीतनराम मांझी का एनडीए को मजबूत बनाने का दृष्टिकोण महत्वपूर्ण है।
- प्रधानमंत्री मोदी के प्रति जनता का विश्वास बढ़ रहा है।
- राज्यों की राजनीतिक और प्रशासनिक स्थिति भिन्न होती है।
- उद्धव ठाकरे के लिए कांग्रेस को छोड़ना जरूरी हो सकता है।
- नितिन नबीन का पार्टी अध्यक्ष बनना राज्य में उत्सव का माहौल बना रहा है।
पटना, 22 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार सरकार के मंत्री दिलीप जायसवाल ने जीतनराम मांझी को एक प्रमुख नेता मानते हुए कहा कि वे हमेशा एनडीए को मजबूत बनाने के बारे में चिंतित रहते हैं। मीडिया अक्सर उनके बयानों में मसाला ढूंढने की कोशिश करता है, लेकिन मांझी के मन में यही रहता है कि एनडीए को कैसे और मजबूत किया जाए।
उन्होंने सोमवार को समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत में यह भी कहा कि देश की वर्तमान राजनीतिक स्थिति इस बात की पुष्टि कर रही है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रति जनता का विश्वास बढ़ रहा है। हमें इस स्थिति का स्वागत करना चाहिए। अगर किसी को संदेह है तो महाराष्ट्र के स्थानीय निकाय चुनावों के नतीजे देख लें या फिर अरुणाचल प्रदेश की राजनीतिक स्थिति पर नजर डालें।
उन्होंने आगे कहा कि आज हर जगह लोग प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अपना विश्वास दिखा रहे हैं। हम इस विश्वास के साथ किसी भी समझौते को स्वीकार नहीं कर सकते, और हमारा देश इसी दिशा में विकास करता रहेगा।
उन्होंने उद्धव ठाकरे की मानसिकता पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि जब तक उद्धव कांग्रेस के साथ रहेंगे, उनकी मानसिकता में कोई बदलाव नहीं आएगा। अगर वे चाहते हैं कि उनकी सोच में बदलाव हो, तो उन्हें कांग्रेस का साथ छोड़ना होगा।
मंत्री दिलीप जायसवाल ने यह भी कहा कि विभिन्न राज्यों की कार्यशैली अलग होती है। यदि किसी राज्य में कुछ हो रहा है, तो यह जरूरी नहीं कि वही स्थिति हर राज्य में भी हो। प्रत्येक राज्य की राजनीतिक और प्रशासनिक स्थिति भिन्न होती है।
इसके अलावा, उन्होंने नितिन नबीन को पार्टी का कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाने पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि इस फैसले से राज्य में उत्सव का माहौल है। आज हर बिहारवासी नितिन नबीन का स्वागत करने के लिए तैयार है। कल उनका भव्य स्वागत होगा।