क्या सम्राट चौधरी गृह मंत्री बनकर 'नीतीश मॉडल' को आगे बढ़ाएंगे?
सारांश
Key Takeaways
- सम्राट चौधरी को गृह मंत्री बनाया गया है।
- नीतीश कुमार के गुड गवर्नेंस मॉडल को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता।
- वित्त और वाणिज्य कर विभागों का सौदा किया गया है।
- बिहार में औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने का लक्ष्य।
- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हर महत्वपूर्ण निर्णय लेंगे।
पटना, 23 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा नेता सम्राट चौधरी को गृह मंत्री के रूप में नियुक्त किए जाने पर जनता दल-यूनाइटेड (जदयू) के नेताओं ने आश्वासन दिया है कि वे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गुड गवर्नेंस के रोडमैप को आगे बढ़ाने का कार्य करेंगे।
जदयू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव रंजन ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा, "सम्राट चौधरी ने यह स्पष्ट किया है कि वे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के कानून व्यवस्था के मॉडल को आगे बढ़ाएंगे।"
विभागों के बंटवारे पर राजीव रंजन ने कहा, "यह मुख्यमंत्री का विशेषाधिकार है कि किसे क्या विभाग दिया जाए। इसी के तहत गृह विभाग सम्राट चौधरी को सौंपा गया है। इसके बदले में उन्हें वित्त और वाणिज्य कर विभागों को लिया गया है, जो पहले जदयू के पास नहीं थे।"
उन्होंने आगे कहा, "नीतीश कुमार ने बिहार में विकास की लंबी लकीर खींचने का संकल्प लिया है। औद्योगिक विस्तार के लिए बिहार में उपयुक्त वातावरण बनाना, औद्योगिक घरानों को उद्योग लगाने के लिए प्रेरित करना और एक करोड़ लोगों को रोजगार देना, ये ऐसे मुद्दे हैं जिनमें वित्त विभाग की भूमिका महत्वपूर्ण होगी। इसलिए हर महत्वपूर्ण निर्णय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार लेंगे। ऐसे में विपक्ष के लिए सियासत करने की कोई गुंजाइश नहीं बचती।"
जदयू नेता नीरज कुमार ने कहा, "गृह मंत्रालय की जिम्मेदारी संभालने के बाद सम्राट चौधरी ने स्पष्ट किया है कि वे नीतीश कुमार के गुड गवर्नेंस के रोडमैप का अनुसरण करते रहेंगे। उन्होंने नीतीश कुमार के रोल मॉडल को और आगे ले जाने की बात कही है।"
वहीं, सम्राट चौधरी को गृह मंत्रालय की जिम्मेदारी मिलने पर केंद्रीय राज्य मंत्री और भाजपा सांसद सतीश चंद्र दुबे ने कहा, "2005 से बिहार में कानून का राज मजबूती से कायम हुआ है। छोटी-मोटी घटनाओं में भी सख्त कार्रवाई होती है। अब अपराधियों को या तो बिहार छोड़ना पड़ेगा या नतीजों का सामना करने के लिए तैयार रहना होगा।"