क्या तृणमूल कांग्रेस ने पश्चिम बंगाल में घुसपैठ को बढ़ावा दिया है?: सुवेंदु अधिकारी
सारांश
Key Takeaways
- सुवेंदु अधिकारी ने तृणमूल कांग्रेस पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
- पश्चिम बंगाल में घुसपैठ का मुद्दा फिर से गरमाया है।
- राशन कार्ड और गैर-कानूनी वोटरों का मुद्दा उठाया गया है।
कोलकाता, 25 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। पश्चिम बंगाल में एसआईआर पर सियासी हलचल थमने का नाम नहीं ले रही है। विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि तृणमूल कांग्रेस ने राज्य में घुसपैठ को बढ़ावा दिया है।
उन्होंने एक प्रेस वार्ता में कहा कि तृणमूल कोई साधारण पार्टी नहीं है, यह एक ऐसा संगठन है जो वोट बैंक की राजनीति पर निर्भर है और यह गैर-कानूनी वोटरों के सहारे खड़ा है, जो ‘जिहाद का समर्थन’ कर रहे हैं।
सुवेंदु अधिकारी ने कहा, "एसआईआर शुरू होने के बाद से पश्चिम बंगाल में नकली राशन कार्ड और गैरकानूनी वोटरों का मुद्दा सामने आया है। घुसपैठिए असली नागरिकों का राशन छीन रहे हैं, इसे ‘फूड जिहाद’ कहा जा सकता है। अगर एसआईआर सफल होती है, तो तृणमूल सरकार का अंत हो सकता है।"
उन्होंने आगे कहा कि "कल, बंगाल में कई प्रमुख टीवी चैनलों ने बीएलओ को खोजने का प्रयास किया, लेकिन वे सफल नहीं हुए। यह बीएलओ नहीं है, बल्कि टीएमसी का एक कैडर है जो मोइदुल के नाम से जाना जाता है। वह टीएमसी प्राइमरी टीचर्स संस्था का संयोजक है।"
सुवेंदु अधिकारी ने बताया कि पश्चिम बंगाल पुलिस का एक सरकारी संगठन, पुलिस वेलफेयर एसोसिएशन ने लेडी पुलिस की एक कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया। यह संगठन कोई राजनीतिक पार्टी या एनजीओ नहीं है, बल्कि यह पश्चिम बंगाल सरकार का एक मान्यता प्राप्त और रजिस्टर्ड संगठन है।
उन्होंने बताया कि मैंने मुख्य निर्वाचन अधिकारी को एक पत्र भेजा है जिसमें पक्षपाती पुलिसवालों को चुनाव ड्यूटी से हटाने की मांग की गई है। उन्होंने कहा कि वर्दीधारी लोग कह रहे हैं कि ममता बनर्जी को फिर से मुख्यमंत्री बनना चाहिए। ऐसे राजनीतिक बयानों की अनुमति नहीं दी जा सकती। ममता बनर्जी के नेतृत्व में पुलिस ने राज्य में लोकतंत्र के आखिरी निशान को भी खत्म कर दिया है।
सुवेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि उस कार्यक्रम में बिजितस्व राउत नामक एक पुलिस इंस्पेक्टर, जो पश्चिम बंगाल पुलिस वेलफेयर कमेटी के कन्वीनर भी हैं, ने विपक्ष के नेता पर व्यक्तिगत हमला किया।