क्या नितिन कासलीवाल और उनके परिवार के विदेशी ट्रस्ट का खुलासा हुआ है?
सारांश
Key Takeaways
- ईडी ने लंदन में 150 करोड़ रुपए की प्रॉपर्टी को अटैच किया।
- नितिन कासलीवाल पर 1,400 करोड़ रुपए के बैंक फ्रॉड का आरोप है।
- धोखाधड़ी का मामला कई भारतीय बैंकों से जुड़ा है।
- जांच में कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और डिजिटल उपकरण बरामद हुए हैं।
- नितिन कासलीवाल का विदेशी ट्रस्ट संदेह के घेरे में है।
इंदौर, 31 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। इंदौर के डायरेक्टरेट ऑफ एन्फोर्समेंट (ईडी) ने 30 दिसंबर को एक प्रोविजनल अटैचमेंट ऑर्डर जारी किया है। इसके तहत लंदन, यूनाइटेड किंगडम में बकिंघम पैलेस के नजदीक एक प्राइम लोकेशन वाली प्रॉपर्टी, जिसकी कीमत लगभग 150 करोड़ रुपए बताई जा रही है, को अटैच किया गया है। यह प्रॉपर्टी नितिन शंभू कुमार कासलीवाल और उनके परिवार के नाम पर है।
नितिन कासलीवाल, जो मेसर्स एस. कुमार्स नेशनवाइड लिमिटेड के पूर्व चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर हैं, पर लगभग 1,400 करोड़ रुपए के बैंक फ्रॉड का आरोप लगा है। ईडी की जांच में यह स्पष्ट हुआ है कि उन्होंने कई भारतीय बैंकों के साथ मिलकर धोखाधड़ी की और बड़ी रकम को विदेशों में भेजा।
जांच में, ईडी ने 23 दिसंबर को मनी लॉन्ड्रिंग रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) 2002 की धारा 17 के तहत छापेमारी की और कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और डिजिटल उपकरण बरामद किए। इन सभी का विश्लेषण करने पर पता चला कि नितिन कासलीवाल ने कई विदेशी टैक्स हैवन जैसे ब्रिटिश वर्जिन आइलैंड्स, जर्सी और स्विट्जरलैंड में एक जटिल नेटवर्क स्थापित किया था। उन्होंने एम/एस कैथरीन ट्रस्ट (पहले एम/एस सूर्या ट्रस्ट) का गठन किया, जिसमें वे और उनके परिवार के सदस्य मुख्य लाभार्थी थे।
इस ट्रस्ट के माध्यम से उन्होंने जर्सी और बीवीआई में मेसर्स कैथरीन प्रॉपर्टी होल्डिंग लिमिटेड (सीपीएचएल) नामक कंपनी बनाई, जो सीधे उस उच्च मूल्य वाली प्रॉपर्टी की मालिक थी। ईडी की जांच में यह भी सामने आया कि नितिन कासलीवाल ने बैंक से धोखाधड़ी कर रकम को विदेशी निवेश के नाम पर भारत से बाहर भेजा और फिर विदेशी प्रॉपर्टी खरीदी। उन्होंने ये सभी गतिविधियाँ विदेशी ट्रस्ट और कंपनियों के जटिल ढांचे के जरिए छिपाई।
ईडी की जांच अब भी जारी है। प्रारंभिक रिपोर्ट से यह स्पष्ट हो गया है कि बड़ी राशि के बैंक फ्रॉड और विदेशी प्रॉपर्टी हाउसिंग के पीछे नितिन कासलीवाल और उनके परिवार का संपूर्ण नेटवर्क शामिल है। अब ईडी इस मामले में सबूत जुटाने और अन्य संबंधित व्यक्तियों की जांच कर रही है।