क्या नोएडा में अवैध वृद्धाश्रम में बुजुर्गों के साथ अमानवीयता हुई है?

सारांश
Key Takeaways
- महिला आयोग ने अवैध वृद्धाश्रम पर कार्रवाई की।
- बुजुर्गों की अमानवीय स्थिति सामने आई।
- आश्रय को सील किया गया।
- बुजुर्गों को अन्य सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया जाएगा।
- दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
नोएडा, 26 जून (राष्ट्र प्रेस)। उत्तर प्रदेश के नोएडा स्थित सेक्टर-55 में एक अवैध वृद्धाश्रम में बुजुर्गों के साथ अमानवीय व्यवहार की एक गंभीर घटना सामने आई है। शिकायत के आधार पर, महिला आयोग की टीम ने मौके पर पहुंचकर स्थिति का गहन अवलोकन किया और वहां के बुजुर्गों की बदतर स्थिति देखी। इसके परिणामस्वरूप, इस अवैध वृद्धाश्रम को सील करने के साथ-साथ वहां रह रहे सभी बुजुर्गों को सुरक्षित स्थान पर स्थानांतरित करने के निर्देश दिए गए हैं।
महिला आयोग ने इस मामले में कार्रवाई तब शुरू की जब लखनऊ में एक शिकायत दर्ज की गई। टीम ने आश्रम में जाकर वहां के हालात को देखकर हैरानी जताई। महिला आयोग की सदस्य मीनाक्षी भराला, जिला समाज कल्याण विभाग, महिला कल्याण विभाग और महिला पुलिस की एक संयुक्त टीम ने इस आश्रम पर छापेमारी की।
इस आश्रम में कुल 39 बुजुर्ग निवास कर रहे थे, जिनमें पुरुष और महिलाएं दोनों शामिल थे। शिकायत के अनुसार, कुछ महिलाओं को बंद कमरों में रखा गया था और उनके हाथ-पैर भी बांधे गए थे। वहीं, एक वृद्ध पुरुष को कई वर्षों तक एक कमरे में कैद रखा गया था। बताया जा रहा है कि यहां बुजुर्गों को रखने के लिए एडमिशन फीस के नाम पर ढाई लाख रुपए तक की वसूली की जाती थी। संचालकों ने न तो आश्रम का कोई वैध पंजीकरण कराया था और न ही यहां रहने वाले बुजुर्गों की देखभाल के लिए कोई चिकित्सकीय या सुरक्षा व्यवस्था उपलब्ध कराई गई थी।
महिला आयोग की सदस्य मीनाक्षी भराला ने मौके पर ही आश्रम को सील करने के आदेश दिए और बुजुर्गों को शीघ्र अन्य सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने की व्यवस्था करने का निर्देश दिया। साथ ही, दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के भी आदेश दिए गए हैं।