क्या पवन कल्याण ने हाथी हमले के बाद अधिकारियों को कार्रवाई करने का आदेश दिया?

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क्या पवन कल्याण ने हाथी हमले के बाद अधिकारियों को कार्रवाई करने का आदेश दिया?

सारांश

आंध्र प्रदेश के चित्तूर जिले में हाथी के हमले से एक और किसान की मौत ने पवन कल्याण को अधिकारियों को जंगली हाथियों के रास्तों की निगरानी के लिए निर्देशित किया। क्या यह कदम किसानों को सुरक्षित रख सकेगा?

Key Takeaways

  • चित्तूर जिले में हाथियों के हमले की बढ़ती घटनाएं चिंता का विषय हैं।
  • पवन कल्याण ने किसानों की सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाने का निर्देश दिया।
  • सरकार ने मुआवजे की राशि को बढ़ाकर पीड़ित परिवारों के लिए राहत प्रदान की है।

अमरावती, 27 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। आंध्र प्रदेश के चित्तूर जिले में एक और किसान की हाथी के हमले में मौत के बाद उपमुख्यमंत्री और अभिनेता पवन कल्याण ने अधिकारियों को जंगली हाथियों के मार्गों की नियमित निगरानी करने और किसानों को पहले से सूचित करने का निर्देश दिया।

चित्तूर जिले के कोथुरु गांव में किसान रामकृष्ण राजू की हाथियों के झुंड द्वारा कुचलकर मृत्यु हो गई। इस घटना के बारे में जानकारी मिलने पर पवन कल्याण, जो राज्य के वन और पर्यावरण मंत्री भी हैं, ने गहरा दुख व्यक्त किया और तत्काल वन विभाग के अधिकारियों से जानकारी मांगी।

उन्होंने निर्देश दिए कि हाथियों का झुंड जहां से गुजरता है, उन मार्गों पर ध्यान रखा जाए और प्रभावित क्षेत्रों के किसानों को पहले से चेतावनी दी जाए। इसके अलावा, उन्होंने वन विभाग और जिला प्रशासन को आदेश दिया कि पीड़ित परिवार को तुरंत मुआवजा दिया जाए।

45 वर्षीय रामकृष्ण अपने खेत पर गए थे, लेकिन देर रात तक घर न लौटने पर परिजनों ने उनकी खोज शुरू की। बाद में वे खेत में मृत पाए गए। यह घटना पिछले एक महीने में चित्तूर में दूसरी बार हुई है। पिछले महीने नागमवंडलापल्ली गांव में 60 वर्षीय एक किसान की जंगली हाथी ने जान ले ली थी।

पिछले तीन महीनों से इस क्षेत्र में लगभग 15 हाथियों का झुंड सक्रिय है, जो खेतों को नुकसान पहुंचा रहा है। वन विभाग के प्रयासों के बावजूद, जंगली हाथी मानव जीवन और फसलों के लिए खतरा बने हुए हैं। चित्तूर जिले में हाथियों के हमले में वृद्धि ने चिंता को बढ़ा दिया है।

अधिकारियों के अनुसार, साल 2011 से अब तक इस क्षेत्र में लगभग 25 लोगों की जान हाथियों के हमले में गई है।

सरकार ने हाल ही में पीड़ित परिवारों के लिए मुआवजे को 5 लाख रुपए से बढ़ाकर 10 लाख रुपए कर दिया है।

साल 2015 से 2024 के बीच हाथियों ने 203 एकड़ से अधिक फसलों को नुकसान पहुंचाया है।

स्थानीय लोगों का कहना है कि दो प्रशिक्षित कुमकी हाथियों और कर्नाटक से हाल ही में लाए गए अतिरिक्त हाथियों के बावजूद, वन विभाग इनका प्रभावी उपयोग नहीं कर पा रहा है।

Point of View

जिसमें मानव और वन्यजीवों के बीच संघर्ष बढ़ रहा है। यह जरूरी है कि सरकार इस मुद्दे को गंभीरता से ले और प्रभावी उपाय करें। हमें सभी के जीवन की सुरक्षा सुनिश्चित करनी होगी।
NationPress
04/08/2025

Frequently Asked Questions

पवन कल्याण ने किस कारण से अधिकारियों को निर्देश दिए?
हाथी के हमले में एक किसान की मौत के बाद पवन कल्याण ने अधिकारियों को जंगली हाथियों के रास्तों की निगरानी करने का निर्देश दिया।
सरकार ने मुआवजे की राशि में क्या बदलाव किया है?
सरकार ने पीड़ित परिवारों के लिए मुआवजा 5 लाख रुपए से बढ़ाकर 10 लाख रुपए कर दिया है।
इस क्षेत्र में हाथियों के हमले में कितनी मौतें हुई हैं?
2011 से अब तक इस क्षेत्र में लगभग 25 लोगों की जान हाथियों के हमले में गई है।