क्या लड़ाकू विमान तेजस की दुर्घटना के पीछे कोई गहरी वजह है?
सारांश
Key Takeaways
- तेजस की दुर्घटना एक असाधारण घटना थी।
- एचएएल ने कहा कि इसका संचालन पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
- निवेशकों में भ्रम से बचने के लिए स्पष्टीकरण जारी किया गया था।
- पायलट नमांश स्याल की शहादत से देश को गर्व है।
- जांच एजेंसियों के साथ एचएएल का सहयोग जारी है।
नई दिल्ली, 24 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। दुबई एयर शो 2025 में भारतीय लड़ाकू विमान तेजस एक दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना का शिकार हो गया। इस घटना के बाद, तेजस का निर्माण करने वाली भारतीय कंपनी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) ने एक आधिकारिक स्पष्टीकरण जारी किया है।
एचएएल ने बाजार नियामक एनएसई और बीएसई को यह पत्र भेजा है, जिसमें बताया गया है कि यह घटना पूरी तरह से असाधारण परिस्थितियों में हुई और इसका कंपनी के संचालन, वित्तीय स्थिति या भविष्य की आपूर्ति कार्यक्रमों पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
यह उल्लेखनीय है कि वायुसेना का अत्याधुनिक स्वदेशी लड़ाकू विमान एलसीए तेजस दुबई में एक प्रदर्शन उड़ान के दौरान पिछले शुक्रवार को दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इस हादसे में पायलट की मृत्यु हो गई। वायुसेना ने इस दुर्घटना की गहन जांच के लिए कोर्ट ऑफ इन्क्वायरी का आदेश दिया है। प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, यह घटना उस समय हुई जब तेजस निर्धारित एरोबेटिक अभ्यास के लिए उड़ान भर रहा था। दुर्घटना के कारणों का फिलहाल स्पष्ट आकलन नहीं हो सका है।
दुबई एयर शो के दौरान हुई इस घटना को लेकर निवेशकों और हितधारकों में भ्रम या चिंता न हो, इस उद्देश्य से एचएएल ने यह स्पष्टीकरण जारी किया है। कंपनी ने भरोसा दिलाया है कि एचएएल के सभी प्रोजेक्ट, उत्पादन कार्यक्रम और डिलीवरी शेड्यूल पूर्ववत जारी हैं और दुर्घटना का कंपनी के किसी भी व्यवसायिक पहलू पर नकारात्मक प्रभाव नहीं पड़ा है।
दुबई एयर शो 2025 में तेजस विमान हादसे में शहीद हुए फाइटर पायलट नमांश स्याल थे। रविवार को उनका पार्थिव शरीर स्वदेश लाया गया था। भारतीय वायुसेना के सी-130 विमान के माध्यम से लाए गए पार्थिव शरीर को दक्षिणी वायु कमान के एयरबेस पर पूर्ण सैन्य सम्मान के साथ प्राप्त किया गया। शहीद नमांश स्याल मूलतः हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिला के निवासी थे, जहाँ पूरे सैन्य सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया गया।
कंपनी ने बताया कि वह विमान दुर्घटना की जांच कर रही संबंधित एजेंसियों के साथ पूर्ण सहयोग कर रही है। जांच के दौरान कंपनी सभी तकनीकी सूचनाएं उपलब्ध करा रही है, ताकि घटना के कारणों का सही पता लगाया जा सके। एचएएल ने कहा है कि जैसे-जैसे कोई महत्वपूर्ण अद्यतन उपलब्ध होगा, कंपनी उसे तुरंत शेयर बाजार नियामकों और हितधारकों के साथ साझा करेगी। यह पत्र एचएएल के कंपनी सचिव एवं अनुपालन अधिकारी शैलेश बंसल ने जारी किया है।
गौरतलब है कि एलसीए तेजस के लिए अमेरिकी कंपनी जनरल इलेक्ट्रिक (जीई) भारत के हिंदुस्तान एयरोनाटिक्स लिमिटेड (एचएएल) को इंजन की सप्लाई कर रही है। अमेरिकन कंपनी जनरल इलेक्ट्रिक और एचएएल के बीच यह समझौता भारत के इस स्वदेशी लड़ाकू विमान के इंजन को लेकर है। समझौते के तहत भारत को 113 जेट इंजन सप्लाई किए जाएंगे। जेट इंजन की ये सप्लाई वर्ष 2032 तक पूरी होने की संभावना है।