क्या शुभमन गिल 'फैब फोर' में अपनी जगह बना सकते हैं?

सारांश
Key Takeaways
- शुभमन गिल ने हाल के मैचों में शानदार प्रदर्शन किया है।
- गिल की तकनीक को मार्क रामप्रकाश ने सराहा है।
- गिल 'फैब फोर' की जगह लेने की क्षमता रखते हैं।
- गिल की कप्तानी ने उनकी बल्लेबाजी पर सकारात्मक प्रभाव डाला है।
- इंग्लैंड की टीम गिल के प्रभाव को कम करने की कोशिश कर रही है।
नई दिल्ली, 9 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। इंग्लैंड के पूर्व बल्लेबाज मार्क रामप्रकाश ने भारतीय टेस्ट कप्तान शुभमन गिल की उत्कृष्ट बल्लेबाजी तकनीक की तारीफ की है। रामप्रकाश का मानना है कि गिल ने 'फैब फोर' (विराट कोहली, जो रूट, स्टीव स्मिथ और केन विलियमसन) के युग के बल्लेबाजों की जगह लेने की क्षमता दिखाई है।
लीड्स में शुभमन गिल ने 147 और 8 रन की पारी खेली, इसके बाद एजबेस्टन में 269 और 161 रन बनाए। गुरुवार से लॉर्ड्स में शुरू होने वाले तीसरे टेस्ट से पहले, गिल ने पांच मैचों की सीरीज में 585 रन बना लिए हैं।
रामप्रकाश ने बुधवार को 'द गार्जियन' में लिखा, "हमें गिल की केवल सहनशक्ति, कौशल और रन बनाने की भूख की सराहना नहीं करनी चाहिए, बल्कि एक युवा टीम के नए कप्तान के रूप में उदाहरण स्थापित करने की भी प्रशंसा करनी चाहिए। कप्तानी अक्सर किसी खिलाड़ी के प्रदर्शन पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है, लेकिन ऐसा लगता है कि इसी कप्तानी ने गिल को अधिक केंद्रित कर दिया है। पिछले तीन हफ्तों में उन्होंने अपने टेस्ट करियर के तीन सर्वोच्च स्कोर बनाए हैं।"
इंग्लैंड के पूर्व बल्लेबाज ने कहा, "हम एक ऐसे दौर के अंत की ओर बढ़ रहे हैं, जिसे तथाकथित 'फैब फोर' (विराट कोहली, जो रूट, स्टीव स्मिथ और केन विलियमसन) ने लंबे समय तक प्रभावित किया है। अब ऐसे खिलाड़ियों की तलाश जारी है, जो उनकी जगह ले सकें। गिल ने साबित कर दिया है कि वह उस स्थान को भर सकते हैं, और वह भी एक बेहद पारंपरिक शैली में। वह सभी फॉर्मेट खेलते हैं, बेहतरीन रूप से खुद को ढाल लेते हैं, लेकिन उनकी बल्लेबाजी की नींव एक क्लासिक तकनीक पर आधारित है।"
रामप्रकाश, जिन्होंने 1991 से 2002 तक इंग्लैंड के लिए 52 टेस्ट खेले, के बाद टीम के बल्लेबाजी कोच भी रहे। रामप्रकाश का मानना है कि इंग्लैंड ने दो मुकाबलों में टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने के फैसले से गिल को बड़े रन बनाने का अवसर दिया। इसके साथ ही उन्होंने बेन स्टोक्स की अगुवाई वाली टीम को इस दाएं हाथ के बल्लेबाज को आउट करने के लिए नए तरीके सोचने के लिए कहा है।
रामप्रकाश ने कहा, "इंग्लैंड ने पहले गेंदबाजी का निर्णय लिया, जिससे गिल को खेल पर नियंत्रण पाने का अवसर मिला। यह विरोधियों को थकाने और उन्हें तनाव में डालने का एक अवसर था। इसके बाद भारत को स्कोरबोर्ड के दबाव का लाभ उठाने का मौका मिला। मेहमान टीम को खेल के अंत में संभावित रूप से खराब होती पिच पर गेंदबाजी करने का अवसर मिला। यही वजह है कि कप्तान टॉस जीतकर बल्लेबाजी करते हैं।"
पूर्व क्रिकेटर ने कहा, "इंग्लैंड इस निर्णय पर विचार करेगा। इंग्लैंड की टीम सीरीज के शेष मैचों में गिल के प्रभाव को कम करने के तरीकों पर विचार कर रही है। गिल शुरुआती दो मैचों में इंग्लैंड के उपयोग किए गए गेंदबाजों के आदी हैं। गिल उन गेंदबाजों की योजना, विविधता और गति को अच्छी तरह समझते हैं।"