क्या अहमदाबाद प्लेन हादसे की प्रारंभिक जांच रिपोर्ट ने परिजनों को इंसाफ दिलाने की उम्मीद जगाई?

सारांश
Key Takeaways
- दुर्घटना के कारणों का पता लगाया गया है।
- मृतकों के परिजन इंसाफ की मांग कर रहे हैं।
- सुरक्षा मानकों में सुधार की आवश्यकता है।
- अंतिम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।
- 300 परिवारों पर दुख का पहाड़ टूटा है।
अहमदाबाद, 12 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। अहमदाबाद के विमान हादसे के एक महीने बाद प्रारंभिक जांच रिपोर्ट जारी की गई है। जांच के अनुसार, यह दुर्घटना विमान के दोनों इंजन के बंद होने के कारण हुई थी।
रिपोर्ट के आने के बाद, हादसे में अपने प्रियजनों को खोने वाले परिजनों ने कहा कि हमें इंसाफ चाहिए। समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत में वडोदरा के रवि ठाकोर ने बताया कि इस घटना में उन्होंने अपनी मां और 2 साल की बेटी खो दी।
उन्होंने कहा कि अब एक महीना हो गया है और रिपोर्ट के मुताबिक, अगर थोड़ी तकनीकी जागरूकता होती, तो यह दुर्घटना नहीं होती। अगर ऐसा होता, तो मेरी बेटी और मां आज भी हमारे साथ होतीं और अन्य लोगों की जान भी बचाई जा सकती थी। उन्होंने घटना वाले दिन का जिक्र करते हुए कहा कि सुबह 10:00 बजे खाना बनाने के लिए मैं और मेरी मां गए थे। हमारी छोटी बच्ची भी हमारे साथ थी। हम लोग वहां से दोपहर 1 बजे तक टिफिन में खाना डालकर निकल गए थे। हादसा दोपहर 1:40 पर हुआ। चारों तरफ धुंआ ही धुंआ दिखाई दे रहा था। हमें नहीं पता था कि इस हादसे में मां और बच्ची को हमेशा के लिए खो दूंगा।
मृतक भाविक माहेश्वरी के दादा ने विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो की प्रारंभिक रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अब यह रिपोर्ट सामने आई है, जिसमें कहा गया है कि ईंधन बटन बंद था। लेकिन बटन किसने बंद किया? और अब अंतिम रिपोर्ट तीन महीने बाद आएगी। तब भी, क्या यह सच होगी या नहीं? और हमें न्याय कब मिलेगा? जब तक दोषियों को सजा नहीं मिलती, तब तक कुछ नहीं होगा। इसलिए सरकार से हमारी बस यही विनती है कि रिपोर्ट जल्द आए और दोषियों को सजा मिले। जब दोषियों को सजा मिलती है, तभी हमें इंसाफ होगा।
उन्होंने बताया कि वह 10 दिन के लिए घूमने के लिए आए थे। कभी सोचा नहीं था कि ऐसा होगा। हम चाहते हैं कि इस मामले में जल्दी से जांच हो और जिनकी कमियों के कारण 300 परिवारों पर दुख का पहाड़ टूटा है, उन्हें कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए।