क्या सिख इतिहास और संस्कृति से जुड़ी हेरिटेज स्ट्रीट से आनंदपुर साहिब का कायाकल्प होगा?

सारांश
Key Takeaways
- हेरिटेज स्ट्रीट परियोजना का उद्देश्य आनंदपुर साहिब को वैश्विक पहचान दिलाना है।
- प्रोजेक्ट में सफेद संगमरमर के विशाल गेट शामिल होंगे।
- धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए नए रूट विकसित किए जाएंगे।
- यह परियोजना सिख इतिहास के गौरव को पुनर्जीवित करेगी।
- आधुनिक सुविधाओं का निर्माण श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए किया जाएगा।
श्री आनंदपुर, 5 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। पंजाब की ऐतिहासिक और धार्मिक भूमि श्री आनंदपुर साहिब में एक नया अध्याय खुला है। मुख्यमंत्री भगवंत मान ने यहाँ 50 साल बाद 'हेरिटेज स्ट्रीट' परियोजना की आधारशिला रखकर इस पवित्र नगरी के विकास की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है।
यही आनंदपुर साहिब है, जहाँ खालसा पंथ की स्थापना हुई थी। इस प्रोजेक्ट के माध्यम से इसे न केवल धार्मिक, बल्कि सांस्कृतिक और पर्यटन के क्षेत्र में भी वैश्विक पहचान दिलाने की योजना है।
मुख्यमंत्री मान ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि आनंदपुर साहिब को 'व्हाइट सिटी' के रूप में विकसित किया जाएगा। यहाँ सफेद संगमरमर का उपयोग किया जाएगा, जिससे यह शांति, श्रद्धा और पवित्रता का प्रतीक बनेगा। इस प्रोजेक्ट के तहत छह विशाल गेट बनाए जाएंगे, जो पंजाब की सांस्कृतिक धरोहर, सिख इतिहास और श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी की गुरबाणी से प्रेरित होंगे। हर गेट का नाम और डिज़ाइन सिख इतिहास से जुड़ा होगा, जिससे आने वाली पीढ़ियों को अपनी विरासत से जोड़ने का अवसर मिलेगा।
भगवंत मान ने कहा कि यह सिर्फ एक निर्माण कार्य नहीं, बल्कि सिख इतिहास के गौरव को साकार करने की कोशिश है। सरकार का लक्ष्य है कि यहाँ आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को विश्वस्तरीय सुविधाएं प्रदान की जाएँ, जैसे कि स्वच्छता, पार्किंग, लेडीज जोन, टॉयलेट्स और यातायात व्यवस्था सभी अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप होंगी।
मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आनंदपुर साहिब से नैना देवी, चिंतपुरणी और बगला मुखी जैसे धार्मिक स्थलों तक विशेष टूरिज्म रूट विकसित किए जा रहे हैं। इसके अतिरिक्त, रेल संपर्क को भी मजबूत करने की योजना बनाई गई है ताकि श्रद्धालु 'पांच तख्तों' के दर्शन आसानी से कर सकें।
उन्होंने कहा कि भले ही पंजाब हाल ही में बाढ़ जैसी प्राकृतिक आपदाओं का सामना कर चुका है, लेकिन पंजाबी हमेशा हर संकट से उभर कर आगे बढ़ते हैं। आनंदपुर साहिब का यह विकास कार्य भी उसी जज़्बे का उदाहरण बनेगा।