क्या राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने केरल राजभवन में पूर्व राष्ट्रपति केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण किया?

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क्या राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने केरल राजभवन में पूर्व राष्ट्रपति केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण किया?

सारांश

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने केरल राजभवन में केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण किया। इस महत्वपूर्ण आयोजन ने उनके योगदान को स्मरण किया और उनके मूल्यों को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया।

Key Takeaways

  • केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण भारतीय लोकतंत्र में उनके योगदान को मान्यता देता है।
  • राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उनके मूल्यों को आगे बढ़ाने का संकल्प लिया।
  • इस आयोजन ने समाज में समानता और अखंडता के महत्व को रेखांकित किया।

तिरुवनंतपुरम, २३ अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने गुरुवार को केरल राजभवन में भारत के पूर्व राष्ट्रपति स्वर्गीय केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण किया और उन्हें पुष्पांजलि अर्पित की। इस अवसर पर भारत के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, केरल के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर, बिहार के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान और केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन भी उपस्थित थे।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि नारायणन एक प्रख्यात राजनेता, राजनयिक और विद्वान थे। राजभवन में केआर नारायणन की प्रतिमा का अनावरण करना मेरे लिए सम्मान की बात है। मुझे विश्वास है कि उनकी स्मृति लोगों को समानता, अखंडता और सार्वजनिक सेवा के उन मूल्यों को बनाए रखने के लिए प्रेरित करेगी जिनके लिए वे सदैव प्रतिबद्ध रहे।

उन्होंने कहा कि केआर नारायणन ने नैतिकता, अखंडता, करुणा और लोकतांत्रिक भावना की समृद्ध विरासत छोड़ी है। समर्पण और शिक्षा की शक्ति के माध्यम से वे हमारे राष्ट्र के सर्वोच्च संवैधानिक पद पर आसीन हुए। उनकी शैक्षणिक उत्कृष्टता इस बात का प्रतीक थी कि जब उद्देश्यपूर्ण मार्गदर्शन हो तो दृढ़ संकल्प और अवसर क्या हासिल कर सकते हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि केआर नारायणन अपने गृह राज्य केरल से गहराई से जुड़े हुए थे। उन्होंने केरल की सामाजिक प्रगति और शिक्षा व समावेशिता पर जोर से प्रेरणा ली। सर्वोच्च पद पर पहुंचने के बाद भी वे अपनी जड़ों से जुड़े रहे।

उन्होंने कहा, "नारायणन ने जीवन भर मानव और राष्ट्रीय विकास में शिक्षा की भूमिका पर जोर दिया। उनके लिए, शिक्षा सिर्फ कुछ लोगों का विशेषाधिकार नहीं, बल्कि सभी का अधिकार थी। नारायणन का मानना ​​था कि मानवीय मूल्य किसी भी सभ्यता के विकास के लिए आवश्यक हैं और समाज के विकास के लिए मूलभूत हैं।"

राष्ट्रपति ने कहा कि आज जब हम उन्हें याद करते हैं, तो हमें उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए, जो राष्ट्र निर्माण के लिए समर्पित था व एक अधिक समावेशी, न्यायसंगत और करुणामय भारत बनाने के लिए प्रेरित करता है। उन्होंने विश्वास जताया कि उनकी स्मृति लोगों को समानता, ईमानदारी और सार्वजनिक सेवा के उन मूल्यों को बनाए रखने के लिए प्रेरित करेगी, जिनके लिए वे खड़े थे।

Point of View

NationPress
23/10/2025

Frequently Asked Questions

केआर नारायणन कौन थे?
केआर नारायणन भारत के पूर्व राष्ट्रपति थे, जो एक प्रख्यात राजनेता और विद्वान थे।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कब प्रतिमा का अनावरण किया?
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 23 अक्टूबर को केरल राजभवन में प्रतिमा का अनावरण किया।
इस कार्यक्रम में कौन-कौन उपस्थित थे?
इस कार्यक्रम में भारत के पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, केरल के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर, बिहार के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान और केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन उपस्थित थे।