क्या कांग्रेस को स्वतंत्र होकर अकेले चुनाव लड़ना चाहिए? : जीतन राम मांझी

सारांश
Key Takeaways
- जीतन राम मांझी ने कांग्रेस को अकेले चुनाव लड़ने की सलाह दी।
- महागठबंधन में दलितों के प्रति रवैया सही नहीं है।
- पत्रकार पेंशन राशि बढ़ाने पर प्रसन्नता व्यक्त की।
- चिराग पासवान को अपराध पर टिप्पणी करने से पहले इतिहास का अध्ययन करने की सलाह।
- एनडीए में सीट बंटवारे को लेकर कोई मांग नहीं है।
पटना, 26 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा कांग्रेस के कार्यकाल में जातीय जनगणना न कराने को लेकर गलती स्वीकार करने पर टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि जो गलती मान ले, उसे माफी मिलनी चाहिए। इसके साथ ही, मांझी ने कांग्रेस को स्वतंत्र होकर अकेले चुनाव लड़ने की सलाह दी।
पटना में पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि महागठबंधन में शामिल सभी दल एससी के प्रति सही रवैया नहीं अपनाए हैं। यदि कांग्रेस ऐसे दलों के साथ है, तो यह उचित नहीं है। कांग्रेस को भले ही एक सीट प्राप्त न हो, लेकिन उसे स्वतंत्र होकर अकेले चुनाव लड़ना चाहिए। ऐसा करने से भविष्य में बिहार की जनता उन्हें समर्थन दे सकती है।
उन्होंने आगे कहा कि महागठबंधन के अन्य दल जहां रहेंगे, दलित और अति पिछड़े उनके खिलाफ जाएंगे। यदि कांग्रेस को सफलता प्राप्त करनी है, तो उसे इंडी गठबंधन को छोड़ देना चाहिए।
मांझी ने पत्रकार पेंशन की राशि बढ़ाए जाने को लेकर प्रसन्नता जताई और इसे एक सकारात्मक कदम बताया। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने पहले ही यह निर्णय लिया था, जिसे अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने लागू किया है। यह बिहार के लिए एक अच्छी खबर है।
बिहार में अपराध को लेकर चिराग पासवान द्वारा उठाए गए सवालों पर मांझी ने कहा कि चिराग को मौजूदा एनडीए सरकार पर टिप्पणी करने से पहले 2005 के पहले के दौर का अध्ययन कर लेना चाहिए। 2005 के पहले अपराधी अपराध करने के बाद सीएम हाउस में जाकर समझौता कर लेते थे।
उन्होंने कहा, "मुझे गर्व है कि मैं एक ऐसी सरकार का समर्थन कर रहा हूं, जो अपराधियों के साथ कोई समझौता नहीं करती। अपराधी भले ही घटना को अंजाम दें, लेकिन उन्हें सलाखों के पीछे जाना पड़ता है।"
मांझी ने यह भी कहा कि चिराग जो बातें कह रहे हैं, वह एनडीए के सहयोगी होने के नाते उचित नहीं हैं। उन्हें अपनी बात एनडीए की बैठक में रखनी चाहिए। सीट शेयरिंग के मामले में दबाव बनाना सही नहीं है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एनडीए में जितनी ताकत होगी, उतनी ही सीटें मिलेंगी। उनकी पार्टी की तरफ से सीट बंटवारे को लेकर कोई मांग नहीं है।