क्या हम खामियों पर चर्चा कर उन्हें सुधार सकते हैं? : मंत्री श्रवण कुमार

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क्या हम खामियों पर चर्चा कर उन्हें सुधार सकते हैं? : मंत्री श्रवण कुमार

सारांश

बिहार सरकार के मंत्री श्रवण कुमार ने लखनऊ में जदयू की बैठक में चुनावी खामियों पर चर्चा की। उन्होंने विपक्षी दलों की आलोचना करते हुए कहा कि जनता ने उन्हें खारिज कर दिया है। क्या यह सही है कि राजनीतिक लाभ के लिए ईवीएम और मतदाता सूची पर सवाल उठाए जा रहे हैं?

Key Takeaways

  • जनता दल यूनाइटेड की बैठक में चुनावी खामियों पर चर्चा हुई।
  • विपक्षी दलों की आलोचना की गई।
  • मतदाता सूची पुनरीक्षण का महत्व बताया गया।
  • राजनीतिक लाभ के लिए मुद्दों को उठाने की प्रवृत्ति पर चिंता जताई गई।
  • संगठन विस्तार की योजना पर चर्चा हुई।

लखनऊ, 8 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार सरकार के मंत्री श्रवण कुमार ने शुक्रवार को बताया कि जनता दल यूनाइटेड हर महीने उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में बैठक का आयोजन करता है, जिसमें सभी नेता भाग लेते हैं। इस संदर्भ में उन्होंने भी बैठक में भाग लिया।

उन्होंने समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा कि इस बैठक में मुख्य रूप से जदयू संगठन के विस्तार और बिहार विधानसभा चुनाव के परिणामों पर गहन चर्चा हो रही है। बैठक का उद्देश्य यह जानना है कि कहीं चुनाव के दौरान कोई खामी तो नहीं रह गई। यदि ऐसी कोई खामी है, तो उसे दूर करने का प्रयास किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि हमें यह समझना होगा कि संगठन बनाना और चुनाव लड़ना दो अलग-अलग पहलू हैं। कई बार हम इन दोनों के बीच का अंतर समझ नहीं पाते हैं। वर्तमान में हम अपने संगठन का विस्तार करने में लगे हैं। इस दिशा में हमने एक व्यापक योजना तैयार की है, जिसके आधार पर हम कार्य कर रहे हैं। हम नए लोगों को संगठन से जोड़ने का प्रयास कर रहे हैं ताकि हमारी पार्टी का विस्तार हो सके। इसके साथ ही, हम अन्य राज्यों में भी पार्टी का विस्तार करने के लिए कार्य कर रहे हैं।

मंत्री श्रवण कुमार ने विपक्षी दलों पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि आज की तारीख में विपक्षी दलों को देश की जनता ने खारिज कर दिया है। अब कोई भी उन्हें स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि वे इन वास्तविकताओं को समझ नहीं पा रहे हैं। जब कभी विपक्षी दलों को किसी राज्य में जीत मिलती है, तो वे ईवीएम पर सवाल नहीं उठाते हैं, लेकिन जब हारते हैं, तो ईवीएम में गड़बड़ी का आरोप लगाते हैं।

उन्होंने कहा कि अब ये लोग राजनीतिक लाभ के लिए मतदाता सूची पुनरीक्षण पर सवाल उठा रहे हैं, जो अनुचित है। इस प्रक्रिया के तहत फर्जी मतदाताओं के नाम हटाए जा रहे हैं। इसके बावजूद भी ये लोग इसका विरोध कर रहे हैं। ऐसे लोगों से मेरा सीधा सवाल है कि वे क्या चाहते हैं? क्या वे उन लोगों का नाम मतदाता सूची में रखना चाहते हैं, जिनकी मृत्यु एक दशक पहले हो चुकी थी? ऐसे लोगों को पहचान कर उनके नाम हटाए जा रहे हैं, ताकि लोकतांत्रिक प्रक्रिया सुचारू बनी रहे।

वहीं, पश्चिम बंगाल में टीएमसी के निलंबित विधायक द्वारा मस्जिद के मुद्दे पर टिप्पणी करने पर मंत्री ने आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि चुनाव के समय ये लोग ऐसे मुद्दों को उठाते हैं ताकि राजनीतिक स्थिति को अपने पक्ष में मोड़ सकें।

Point of View

यह समझना महत्वपूर्ण है कि राजनीतिक दलों के बीच की प्रतिस्पर्धा लोकतंत्र को मजबूत करती है। हालांकि, जब दल चुनावी खामियों पर चर्चा करते हैं, तो यह आवश्यक है कि वे निष्पक्षता और पारदर्शिता बनाए रखें। जनता की आवाज सुनना और उनकी चिंताओं का समाधान करना लोकतंत्र की शक्ति को दर्शाता है।
NationPress
08/12/2025

Frequently Asked Questions

श्रवण कुमार ने बैठक में क्या चर्चा की?
उन्होंने जदयू संगठन के विस्तार और बिहार विधानसभा चुनाव के परिणामों पर चर्चा की।
क्या विपक्षी दलों को जनता ने खारिज कर दिया है?
जी हां, मंत्री श्रवण कुमार ने कहा कि जनता ने विपक्षी दलों को खारिज कर दिया है।
मतदाता सूची पुनरीक्षण का महत्व क्या है?
मतदाता सूची पुनरीक्षण फर्जी मतदाताओं के नाम हटाने और लोकतांत्रिक प्रक्रिया को सुचारू रखने में मदद करता है।
किस मुद्दे पर मंत्री ने टीएमसी के विधायक की आलोचना की?
मंत्री ने मस्जिद के मुद्दे को चुनावी लाभ के लिए उठाने पर टीएमसी के विधायक की आलोचना की।
क्या मंत्री ने चुनावी खामियों पर कुछ ठोस कदम उठाने की बात की?
हां, उन्होंने चुनावी खामियों को दूर करने के प्रयासों की बात की।
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