क्या सीएम योगी भी मठ में रहते हैं, पहले उन्हें निकालें? : रामजीलाल सुमन

सारांश
Key Takeaways
- रामजीलाल सुमन ने मस्जिद में पार्टी की बैठक पर प्रतिक्रिया व्यक्त की।
- राजनीति में धर्म और सामाजिक मुद्दों का मिश्रण।
- उन्होंने योगी आदित्यनाथ को मठ से बाहर निकालने की बात की।
- संसद के मानसून सत्र में महत्वपूर्ण सवाल उठाने का आश्वासन दिया।
- धर्म परिवर्तन पर अपने विचार साझा किए।
फिरोजाबाद, 26 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता और राज्यसभा सांसद रामजीलाल सुमन ने शनिवार को फिरोजाबाद का दौरा किया, जहां उन्होंने संविधान और आरक्षण दिवस के अवसर पर एक कार्यक्रम में भाग लिया। इस अवसर पर उन्होंने पार्टी सुप्रीमो अखिलेश यादव के मस्जिद में बैठक करने पर अपनी प्रतिक्रिया दी।
सांसद रामजीलाल सुमन ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि कुछ लोग सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव को यह कह रहे हैं कि वे मस्जिद में दफ्तर खोलने गए थे। हम न तो किसी मंदिर में दफ्तर बनाना चाहते हैं और न ही मस्जिद में। भारतीय जनता पार्टी के लोग मंदिरों में रहते हैं। मेरा भाजपा के नेताओं से अनुरोध है कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ स्वयं मठ में निवास करते हैं, पहले उन्हें वहां से निकालें, तब समस्या अपने आप सुलझ जाएगी। उन्होंने कहा कि हम राजनीति के क्षेत्र में हैं, ऐसे में हमें मंदिर, मस्जिद और गुरुद्वारे भी जाना पड़ेगा।
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के ओबीसी से संबंधित बयान पर बसपा सुप्रीमो मायावती द्वारा उठाए गए सवाल पर रामजीलाल सुमन ने कहा कि ये सवाल आप मायावती से पूछें। हम न तो कांग्रेस के साथ हैं और न ही मायावती के। हम केवल अपनी पार्टी की बात करते हैं। हम पिछड़े, दलित और अल्पसंख्यक वर्ग के अधिकारों के प्रति समर्पित हैं, जिनके हित में हम कार्य कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि संसद का मानसून सत्र 28 जुलाई से सुचारू रूप से शुरू होगा, जहां विपक्ष यह सवाल करेगा कि पहलगाम में आतंकी हमला कैसे हुआ? यह केंद्र सरकार की विफलता है। हम सरकार से पूछेंगे कि सरकारी तंत्र और सरकार क्या कर रही थी?
रामजीलाल सुमन ने देश में धर्म परिवर्तन के मुद्दे पर कहा कि सनातन और हिंदू धर्म के ठेकेदारों के रवैये के कारण धर्म परिवर्तन हो रहा है। जब तक सनातन में समानता नहीं आएगी, तब तक कोई धर्म परिवर्तन नहीं रोक सकता।