क्या तमिलनाडु भाजपा ने सीएम स्टालिन से जल जीवन मिशन के तहत स्वच्छ पेयजल की मांग की?

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क्या तमिलनाडु भाजपा ने सीएम स्टालिन से जल जीवन मिशन के तहत स्वच्छ पेयजल की मांग की?

सारांश

तमिलनाडु भाजपा प्रवक्ता ए.एन.एस. प्रसाद ने मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन से जल जीवन मिशन के तहत स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति को सुनिश्चित करने की मांग की। उन्होंने केंद्र सरकार के निर्देशों और प्रशासन की जिम्मेदारियों को उजागर किया। जानें इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर और क्या कहा गया है।

Key Takeaways

  • जल जीवन मिशन का लक्ष्य ग्रामीण क्षेत्रों में शुद्ध जल उपलब्ध कराना है।
  • भ्रष्टाचार और लापरवाही के कारण ग्रामीणों को जल आपूर्ति में कठिनाई हो रही है।
  • केंद्र सरकार ने ठेकेदारों की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।
  • तमिलनाडु में 89.25 प्रतिशत घरों को पानी पहुंचाया गया है।
  • मुख्यमंत्री को केंद्र के साथ पारदर्शी तरीके से काम करने की आवश्यकता है।

चेन्नई, 5 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। तमिलनाडु भाजपा प्रवक्ता ए.एन.एस. प्रसाद ने मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन से केंद्र सरकार के प्रमुख जल जीवन मिशन (जेजेएम) को प्रभावी तरीके से प्रदेश में लागू करने की मांग की है। उन्होंने अनुरोध किया है कि तत्काल सुधारात्मक कदम उठाए जाएं ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में भी लोगों को शुद्ध जल उपलब्ध हो सके। प्रसाद ने इस मुहिम में बाधा उत्पन्न करने वाली समस्याओं का भी उल्लेख किया है।

प्रसाद ने कहा कि राज्य प्रशासन को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि जल जीवन मिशन के अंतर्गत नल कनेक्शन वाले गांवों को सुरक्षित पेयजल मिले। उन्होंने कहा, "नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा इस मद में पर्याप्त धनराशि उपलब्ध कराई गई है। इसके बावजूद, कई गांवों के लोग सूखे नलों और अधूरे पाइपलाइन कार्यों की शिकायत कर रहे हैं। तमिलनाडु सरकार को भ्रष्टाचार और लापरवाही के कारण लोगों को पीने के पानी के उनके मूल अधिकार से वंचित नहीं होना चाहिए।"

प्रसाद के अनुसार, केंद्र सरकार ने निर्देश दिया है कि यदि ठेकेदार गुणवत्ता मानकों का पालन नहीं करते हैं या परियोजनाओं को समय पर पूरा नहीं करते हैं, तो उन्हें आवंटित धनराशि रोकने की कार्रवाई की जाए।

उन्होंने कहा, "यदि कोई चूक होती है, देरी होती है, या भ्रष्टाचार होता है, तो धनराशि तुरंत रोकी जानी चाहिए - यह केंद्र का स्पष्ट निर्देश है।" उन्होंने स्टालिन की द्रमुक सरकार से इसे सख्ती से लागू करने और योजना में व्यवधान को रोकने का आग्रह किया।

प्रवक्ता ने कहा कि अगस्त 2019 में जल जीवन मिशन की शुरुआत के बाद से तमिलनाडु में उल्लेखनीय सुधार देखा गया है, जब केवल 17.37 प्रतिशत ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन थे।

प्रसाद ने दावा किया, "मोदी सरकार के प्रयासों के कारण अब 89.25 प्रतिशत घरों तक पानी पहुंचाया जा चुका है और 1.11 करोड़ से अधिक घरों को पानी से जोड़ा जा चुका है। लेकिन नियमित जल आपूर्ति सुनिश्चित करना राज्य की जिम्मेदारी है, और इसमें डीएमके विफल रही है।"

उन्होंने चेतावनी दी कि खराब मॉनिटरिंग और भ्रष्टाचार के कारण केंद्रीय धनराशि रुक सकती है, जिससे लाखों ग्रामीणों को नुकसान होगा।

उन्होंने कहा, "यह उन लोगों के साथ घोर अन्याय होगा जो जल जीवन मिशन पर सुरक्षित पानी के लिए निर्भर हैं।"

प्रसाद ने सीएम स्टालिन की वितरण के बजाय केंद्र-राज्य संबंधों का "राजनीतिकरण" करने के लिए भी आलोचना की। उन्होंने कहा, "डीएमके के कार्यक्रमों में, मुख्यमंत्री आरोप लगाते हैं कि भाजपा तमिलनाडु को 'नियंत्रित' करना चाहती है और धनराशि रोकी जाती है - ये दावे निराधार और भ्रामक हैं। राजनीतिक हथकंडे अपनाने के बजाय, सरकार को अपनी प्रशासनिक कमियों को सुधारना चाहिए।"

जेजेएम को "लाखों लोगों के लिए जीवन रेखा" बताते हुए, भाजपा नेता ने सीएम स्टालिन से केंद्र के साथ पारदर्शी और कुशलता से काम करने का आग्रह किया।

प्रसाद ने कहा, "दोष देना बंद करो और काम शुरू करो - तमिलनाडु के लोग खोखले नारे नहीं बल्कि स्वच्छ पेयजल के हकदार हैं।"

Point of View

और इसका सफल कार्यान्वयन सुनिश्चित करना सभी सरकारों की जिम्मेदारी है। केंद्र और राज्य के बीच सहयोग से ही हम इस मिशन को सफल बना सकते हैं।
NationPress
05/10/2025

Frequently Asked Questions

जल जीवन मिशन का उद्देश्य क्या है?
जल जीवन मिशन का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ पेयजल आपूर्ति को सुनिश्चित करना है।
तमिलनाडु में जल जीवन मिशन की स्थिति क्या है?
तमिलनाडु में जल जीवन मिशन के तहत 89.25 प्रतिशत घरों को पानी पहुंचाया गया है।
भाजपा ने मुख्यमंत्री से क्या मांग की है?
भाजपा ने मुख्यमंत्री से जल जीवन मिशन के तहत स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित करने की मांग की है।
केंद्र सरकार ने ठेकेदारों के लिए क्या निर्देश दिए हैं?
केंद्र सरकार ने निर्देश दिया है कि यदि ठेकेदार गुणवत्ता मानकों का पालन नहीं करते हैं, तो उनकी धनराशि रोकी जाए।
क्या भ्रष्टाचार जल आपूर्ति में बाधा डाल रहा है?
हां, भ्रष्टाचार और लापरवाही जल आपूर्ति में गंभीर बाधाएं उत्पन्न कर रहे हैं।