क्या योगी सरकार ने एक दिन में 37 करोड़ पौधे लगाकर इतिहास रच दिया?

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क्या योगी सरकार ने एक दिन में 37 करोड़ पौधे लगाकर इतिहास रच दिया?

सारांश

उत्तर प्रदेश में 'एक पेड़ मां के नाम 2.0' के तहत पौधरोपण महाभियान 2025 में एक दिन में 37 करोड़ से अधिक पौधे लगाए गए। यह अभियान न केवल पर्यावरण के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक है, बल्कि यह एक नई दिशा की ओर भी इंगित करता है। जानिए इस अभूतपूर्व पहल के बारे में।

Key Takeaways

  • 37 करोड़ से अधिक पौधों का पौधरोपण
  • पर्यावरण संरक्षण के प्रति सामूहिक जिम्मेदारी
  • टेक्नोलॉजी का उपयोग और पारदर्शिता
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का प्रेरक नेतृत्व
  • स्थानीय समुदायों का सक्रिय योगदान

लखनऊ, 9 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश ने बुधवार को एक नया इतिहास रचा। 'एक पेड़ मां के नाम 2.0' के तहत पौधरोपण महाभियान 2025 में पूरे प्रदेश में बुधवार को शाम छह बजकर छह मिनट तक एक ही दिन में 37,21,40,925 पौधे लगाए गए। यह सरकार द्वारा निर्धारित लक्ष्य 37 करोड़ से 21,40,925 पौधे अधिक हैं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, जो माफिया के प्रति कठोर और बच्चों के लिए नरम दिल रखतें हैं, पर्यावरण संरक्षण के प्रति बेहद संवेदनशील हैं। दुनियाभर में बढ़ते ग्लोबल वार्मिंग के खतरे को कम करने के लिए उन्होंने इस वर्ष भी बड़े पैमाने पर इस अभियान को शीर्ष प्राथमिकता दी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान 'एक पेड़ मां के नाम 2.0' के तहत मुख्यमंत्री की सोच को ध्यान में रखते हुए प्रदेश में व्यापक स्तर पर 'पौधरोपण महाभियान 2025' का आयोजन किया गया। इस दौरान सीएम योगी ने अयोध्या के रामपुर हलवारा में सरयू नदी के किनारे त्रिवेणी वाटिका में बरगद, नीम और पीपल के पौधे रोपे और इसे भगवान श्रीराम, धरती माता, और जन्मदायिनी मां को समर्पित किया।

इसके बाद, मुख्यमंत्री ने आजमगढ़ के सठियांव ब्लॉक के केरमा गांव में एक्सप्रेसवे के किनारे हरिशंकरी वाटिका की स्थापना की और फिर गोरखपुर के खाद कारखाना परिसर में चिलुआताल के पास पौधरोपण किया।

'पौधरोपण महाभियान 2025' के अंतर्गत वन, रक्षा, रेलवे की भूमि, ग्राम पंचायत एवं सामुदायिक भूमि, एक्सप्रेसवे, सड़क, नहर, रेल पटरी के किनारे, विकास प्राधिकरण, औद्योगिक परिसर, चिकित्सा संस्थान, शिक्षण संस्थान की भूमि, अन्य राजकीय भूमि, कृषकों की निजी भूमि, और नागरिकों द्वारा निजी परिसर में बड़े स्तर पर पौधरोपण किया गया।

सबसे महत्वपूर्ण यह है कि इस अभियान को पूरी पारदर्शिता के साथ संपन्न करने के लिए वन विभाग ने एंड्रॉयड आधारित प्लांटेशन मॉनिटरिंग सिस्टम सॉफ्टवेयर पर रीयल टाइम अपडेट प्रदान किया। मुख्यमंत्री का स्पष्ट निर्देश था कि पिछली सरकारों की तरह पौधरोपण अभियान केवल कागजी खानापूर्ति तक सीमित न रहे। इसलिए इस वर्ष भी पौधों की जियो टैगिंग की मुकम्मल व्यवस्था की गई है। इसके लिए वन विभाग ने टेक्नोलॉजी का भरपूर उपयोग किया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 'एक पेड़ मां के नाम' अभियान की अभूतपूर्व सफलता के लिए प्रदेशवासियों का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि यह बताते हुए गर्व और भावुकता हो रही है कि पौधरोपण महाभियान 2025 के अंतर्गत एक ही दिन में 37 करोड़ से अधिक पौधरोपण कर उत्तर प्रदेश ने नया कीर्तिमान स्थापित किया है। यह केवल पौधों की संख्या नहीं है, बल्कि प्रकृति के प्रति हमारी सामूहिक संवेदनशीलता, जिम्मेदारी और कृतज्ञता की संख्या है।

उन्होंने इस पुनीत कार्य में सहभागी हर नागरिक, जनप्रतिनिधि, अधिकारियों, कर्मचारियों, छात्रों, स्वयंसेवियों, किसानों और हर परिवार को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि आपने यह सिद्ध कर दिया है कि अगर भाव शुद्ध हो और संकल्प दृढ़ हो तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं। यह सफलता न केवल उत्तर प्रदेश की, बल्कि पूरे देश की पर्यावरण चेतना की जीत है। इसका संपूर्ण श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जाता है, जिनके प्रेरक नेतृत्व और दूरदर्शी सोच ने हमें 'एक पेड़ मां के नाम' जैसे भावनात्मक, जीवनमूल्य से जुड़े अभियान से जोड़ा। यह उनका ही आह्वान था, जिसे उत्तर प्रदेश की जनता ने अपनाया, आत्मसात किया और अमृत महोत्सव में बदल दिया।

Point of View

बल्कि पूरे देश के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का यह प्रयास पर्यावरण संरक्षण के प्रति सरकार की गंभीरता को दर्शाता है। यह पहल हमें यह याद दिलाती है कि एकजुट होकर हम अपनी धरती का संरक्षण कर सकते हैं।
NationPress
23/07/2025

Frequently Asked Questions

पौधरोपण महाभियान 2025 का उद्देश्य क्या है?
इसका उद्देश्य पर्यावरण संरक्षण और ग्लोबल वार्मिंग के खिलाफ जागरूकता बढ़ाना है।
कितने पौधे एक दिन में लगाए गए?
एक दिन में 37,21,40,925 पौधे लगाए गए।
इस अभियान में कौन-कौन शामिल थे?
इसमें नागरिक, जनप्रतिनिधि, अधिकारी, कर्मचारी, छात्र, स्वयंसेवी, किसान और परिवार शामिल थे।
क्या पौधों की मॉनिटरिंग के लिए तकनीक का उपयोग किया गया?
हाँ, पौधों की जियो टैगिंग और मॉनिटरिंग के लिए तकनीक का उपयोग किया गया।
यह अभियान किसके नेतृत्व में संचालित हुआ?
यह अभियान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में संचालित हुआ।