क्या फिरहाद हाकिम का भाई दूज पर संकल्प, 'गंदी मानसिकता वालों को समाज से बाहर निकालना होगा'?

सारांश
Key Takeaways
- भाई दूज का पर्व भाई-बहन के रिश्ते को मजबूत करता है।
- फिरहाद हाकिम ने गंदे मानसिकता वालों के खिलाफ एक ठोस संकल्प लिया।
- महिलाओं की सुरक्षा के लिए कड़ी सजा की आवश्यकता है।
- समाज में अत्याचार के खिलाफ एकजुट होने की जरूरत है।
- भाई दूज पर मिठाई की दुकानों में भारी भीड़ देखने को मिली।
कोलकाता, 23 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। देशभर में भाई दूज का पर्व धूमधाम से मनाया गया। इस पर्व को पश्चिम बंगाल में भाई फोटा के नाम से जाना जाता है। इस पावन अवसर पर बहनें अपने भाइयों के माथे पर तिलक लगाकर उनकी आरती उतारती हैं और उनकी लंबी उम्र की प्रार्थना करती हैं।
कोलकाता में इस पर्व का उत्साह देखने को मिला। इस शुभ दिन पर कोलकाता के मेयर फिरहाद हाकिम ने सभी बहनों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि सभी भाइयों को संकल्प लेना चाहिए कि समाज से गंदे लोगों को बाहर निकालना होगा।
उन्होंने कहा, "मेरी पत्नी को छोड़कर सभी मेरी बहनें हैं। सभी बहनों को भाई दूज की ढेर सारी शुभकामनाएं। हमारी बहनें और दीदियां हमारे जीवन की सुख-शांति की कामना करती हैं।"
मेयर ने कहा, "आज के दिन सभी भाइयों को संकल्प लेना चाहिए कि समाज से गंदे लोगों को बाहर निकालना होगा। बहनों और दीदियों के साथ खड़ा होना चाहिए। जो लोग पिशाच जैसी हरकतें कर रहे हैं, उनके लिए कड़ी से कड़ी सजा का इंतजाम होना चाहिए ताकि कोई हमारी बहनों की ओर मुड़कर देखने की हिम्मत न करे।"
मेयर ने बंगाल की संस्कृति का जिक्र करते हुए कहा कि कोलकाता में हम देवी की पूजा करते हैं। नारी को हम बहन का दर्जा देते हैं। महिलाओं पर अत्याचार करने वालों को ऐसी सजा मिलनी चाहिए कि वे दोबारा ऐसी हरकत करने की हिम्मत तक न करें।"
उन्होंने असम सरकार के 'लव जिहाद' बिल पर टिप्पणी की। मेयर ने कहा, "ये सब बेकार बिल हैं, इससे कुछ हल नहीं होगा, जो अत्याचार महिलाओं पर हो रहे हैं, उन्हें पूरी तरह से रोका जाना चाहिए।"
भाई फोटा के इस पावन अवसर पर कोलकाता में मिठाई की दुकानों में भारी भीड़ देखने को मिली। दक्षिण कोलकाता के नाकतल्ला इलाके में स्थित मां काली स्वीट्स पर खरीदारों की लंबी लाइन लगी।