क्या इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी हस्तक्षेप टलने से कच्चे तेल की कीमतें गिरीं?

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क्या इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी हस्तक्षेप टलने से कच्चे तेल की कीमतें गिरीं?

सारांश

कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट का मुख्य कारण इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी हस्तक्षेप का टलना है। जानें इस संघर्ष का वैश्विक बाजार पर क्या असर पड़ा है और आगे की संभावनाएं क्या हैं।

Key Takeaways

  • कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट
  • अमेरिकी हस्तक्षेप का टलना
  • मध्य पूर्व में भू-राजनीतिक तनाव
  • ईरान के साथ वार्ता की संभावना
  • तेल निर्यातक देशों पर प्रभाव

नई दिल्ली, 20 जून (राष्ट्र प्रेस)। वैश्विक बाजारों में शुक्रवार को कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट देखने को मिली और ब्रेंट क्रूड फ्यूचर्स 2 प्रतिशत की गिरावट के साथ 77.24 डॉलर प्रति बैरल पर पहुँच गया है। इसका कारण राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी हस्तक्षेप को दो हफ्तों के लिए टालना है।

रिपोर्टों के अनुसार, इजरायल और ईरान संघर्ष में अमेरिका के हस्तक्षेप पर निर्णय राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अगले दो हफ्तों में करेंगे।

व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने राष्ट्रपति ट्रंप के हवाले से कहा, "निकट भविष्य में ईरान के साथ चर्चा होने की संभावना है, राष्ट्रपति ट्रंप अगले दो सप्ताह में इस संबंध में निर्णय करेंगे कि हस्तक्षेप करना है या नहीं।"

विश्लेषकों के अनुसार, मध्य पूर्व में तनाव कम करने के लिए ईरान से ट्रंप की बातचीत की संभावना के कारण कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट आई है।

ईरान ने मौजूदा स्थिति में अमेरिका के हस्तक्षेप के खिलाफ चेतावनी दी है और कहा है कि इस तरह के किसी भी हस्तक्षेप से पश्चिम एशिया में तनाव और बढ़ेगा।

मध्य पूर्व कच्चा तेल का एक प्रमुख निर्यातक क्षेत्र है। इस क्षेत्र में संघर्ष से दुनिया के बड़े कच्चे तेल निर्यातक देशों जैसे सऊदी अरब, इराक, कुवैत, और यूएई की तेल आपूर्ति प्रभावित हो सकती है, जिससे कच्चे तेल की कीमतों में वृद्धि हो सकती है।

इजरायल के हमलों ने ईरान के परमाणु स्थलों और मिसाइल ठिकानों को निशाना बनाया है, लेकिन इस्लामिक देश की तेल सुविधाओं पर हमला नहीं किया गया।

13 जून को ईरान के परमाणु संयंत्रों और मिसाइल उत्पादन ठिकानों पर इजरायल के हमले के बाद मध्य पूर्व में भू-राजनीतिक तनाव बढ़ने के कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में तेल की कीमतों में 9 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि हुई थी।

बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड की कीमत 6 डॉलर से अधिक बढ़कर 78 डॉलर प्रति बैरल के पांच महीने के उच्चतम स्तर को पार कर गई थी।

Point of View

हमारा दृष्टिकोण है कि इस संघर्ष का प्रभाव न केवल आर्थिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह वैश्विक स्थिरता को भी प्रभावित कर सकता है। हमें यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि हमारी नीति हमेशा देशहित में हो।
NationPress
18/12/2025

Frequently Asked Questions

कच्चे तेल की कीमतें क्यों गिरीं?
कच्चे तेल की कीमतें इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी हस्तक्षेप के टलने के कारण गिरीं।
अमेरिका का हस्तक्षेप कब होगा?
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अगले दो हफ्तों में हस्तक्षेप के बारे में निर्णय लेंगे।
मध्य पूर्व में तनाव का कच्चे तेल पर क्या असर है?
मध्य पूर्व में तनाव से कच्चे तेल की कीमतों में वृद्धि हो सकती है।
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