क्या प्यार, हंसी और मस्ती से भरा होगा 'पति-पत्नी और पंगा'?

सारांश
Key Takeaways
- रिश्तों में प्यार और तकरार दोनों आवश्यक हैं।
- समस्याओं का समाधान बातचीत से किया जाना चाहिए।
- एक रिश्ते में परिपक्वता और भावना दोनों महत्वपूर्ण हैं।
- विश्वास और स्पेस का सही संतुलन होना चाहिए।
- इस शो का उद्देश्य असली रिश्तों की चुनौतियों को उजागर करना है।
मुंबई, 3 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। रियलिटी शो ‘पति-पत्नी और पंगा’ अब कलर्स टीवी पर प्रसारित हो चुका है। इसे प्रसिद्ध अभिनेत्री सोनाली बेंद्रे और मुनव्वर फारुकी होस्ट कर रहे हैं। इस शो में मशहूर पहलवान गीता फोगाट और उनके पति पवन कुमार भी शामिल हैं।
इन दोनों से राष्ट्र प्रेस ने खास बातचीत की। उन्होंने शो और अपनी जिंदगी से जुड़े कई दिलचस्प सवालों के जवाब दिए।
राष्ट्र प्रेस: आप दोनों ने इस रियलिटी शो में हिस्सा लेने का निर्णय क्यों लिया?
गीता फोगाट: इस शो का उद्देश्य बहुत सरल है। यह पहला रियलिटी शो है जो पति-पत्नी के रिश्ते में आने वाली चुनौतियों पर ध्यान देता है। लेकिन इसमें सभी चीजें गंभीर नहीं हैं; इसमें प्यार, हंसी और मस्ती भी है। दर्शकों को यहां कपल के बीच का असली कनेक्शन देखने को मिलेगा।
पवन कुमार: मैं गीता की बात से सहमत हूं। इस शो में वो मुद्दे पेश किए जाएंगे जिन्हें एक कपल सामना करता है। यह टीवी पर बहुत कम दिखाया जाता है। रिश्ते प्यार और तकरार का मिश्रण होते हैं। शो यही सब दिखाएगा और हम इसके हिस्सा बनने के लिए उत्साहित हैं।
राष्ट्र प्रेस: यह तो दिलचस्प लग रहा है, क्या आपको लगता है कि शो में प्यार, मस्ती और हास्य का सही तालमेल होगा?
पवन कुमार: हां, लेकिन इस बारे में ज्यादा चिंता करने की जरूरत नहीं है। हर रिश्ते में प्यार और झगड़े होते हैं। एक मजबूत रिश्ता वह होता है जो एक-दूसरे को समझता है और समस्याओं का समाधान साथ में करता है। शो में यही संतुलन दिखेगा।
राष्ट्र प्रेस: क्या आपको लगता है कि कपल को झगड़ों के समय एक-दूसरे को नजरअंदाज करना चाहिए या बात करके इसे सुलझाना चाहिए?
पवन कुमार: सच कहूं तो किसी को भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए और मुझे विश्वास है कि गीता भी यही कहेगी। जब भी हमारे बीच असहमति होती है, हम इसे साथ में सुलझाते हैं, न कि इसे बढ़ाते हैं।
गीता फोगाट: हां, यह बिल्कुल सही है। नजरअंदाज करना काम नहीं आएगा। अगर कोई समस्या है, तो हमें उस पर बात करनी चाहिए और उसे सुलझाना चाहिए। जितनी जल्दी हम इसे सुलझाते हैं, हमारा रिश्ता उतना ही मजबूत होता है।
राष्ट्र प्रेस: चलिए, परिपक्वता पर बात करते हैं। क्या एक रिश्ते में मैच्योरिटी जरूरी है?
पवन कुमार: मुझे लगता है कि एक रिश्ते में भावना और परिपक्वता दोनों बहुत जरूरी हैं। भावनात्मक जुड़ाव के बिना कोई रिश्ता ज्यादा दिन तक नहीं टिकता, और बिना परिपक्वता के इसे चलाना मुश्किल है। यह सही संतुलन की खोज के बारे में है।
राष्ट्र प्रेस: जब भरोसे की बात आती है, तो क्या एक रिश्ते में स्पेस से कहीं अधिक भरोसा महत्वपूर्ण है?
गीता फोगाट: ट्रस्ट, यानी विश्वास, बहुत आवश्यक है; इसके बिना किसी भी रिश्ते की नींव नहीं रखी जा सकती। स्पेस भी आवश्यक है, लेकिन विश्वास पहले आता है।
इसके अतिरिक्त, दोनों ने बताया कि वे अपने झगड़ों को आपस में ही सुलझाते हैं, जिससे बात आगे नहीं बढ़ती। शो के बारे में उन्होंने अंत में यही कहा कि पति-पत्नी से जुड़ा यह शो बहुत खास होने वाला है। किसी भी असली रिश्ते की तरह यहां भी प्यार, तकरार और मस्ती है।
पवन ने स्पष्ट किया कि कई लोग सोचते हैं कि यह शो झगड़ों पर आधारित होगा, लेकिन ऐसा नहीं है। आप भरोसा रखिए, यह एक बेहतरीन शो है, और हमें उम्मीद है कि आप इसे पसंद करेंगे।