क्या स्थानीय स्तर पर रोजगार की संभावनाओं के लिए पाठ्यक्रम तैयार करना आवश्यक है?

सारांश
Key Takeaways
- स्थानीय स्तर पर पाठ्यक्रम तैयार करना आवश्यक है।
- कौशल विकास पर जोर दिया जा रहा है।
- निवेश प्रस्ताव को बढ़ावा देने की दिशा में कदम उठाए जा रहे हैं।
- रोजगार आधारित शिक्षा पर कार्यशाला का आयोजन किया गया।
- शिक्षा सामाजिक परिवर्तन का एक महत्वपूर्ण साधन है।
भोपाल, 23 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। मध्य प्रदेश के राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने कहा कि विश्वविद्यालयों को स्थानीय स्तर पर रोजगार की संभावनाओं को समझते हुए पाठ्यक्रम तैयार करना चाहिए।
उन्होंने मुख्यमंत्री मोहन यादव की उस पहल की सराहना की है, जिसके अंतर्गत प्रदेश में देश-विदेश से निवेश प्रस्ताव प्राप्त किए जा रहे हैं। उन्होंने आशा व्यक्त की कि निवेश परियोजनाओं के क्रियान्वयन के साथ-साथ उद्योग में रोजगार के लिए उपयुक्त अभ्यर्थी उपलब्ध कराने हेतु कोर्स शुरू किए जाएं, ताकि परियोजनाएँ आरंभ होते ही स्थानीय युवाओं को अवसर मिल सकें।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बताया कि आज का समय करेंसी का है, लेकिन असली करेंसी कौशल है, और भारत इस बात को भली-भाँति समझता है। इसलिए हम नवाचार करते हुए कौशल विकास की दिशा में कदम बढ़ा रहे हैं। मध्य प्रदेश एक कृषि प्रधान और तेजी से विकसित हो रहा राज्य है, इसलिए हम खेती से संबंधित शिक्षा को सामान्य महाविद्यालयों में भी लेकर गए हैं। यदि कोई युवा खेती में करियर बनाना चाहता है, तो उसे आधुनिक तकनीक की जानकारी होनी चाहिए। सभी पाठ्यक्रम यहीं से संचालित होने चाहिए।
राज्यपाल पटेल और मुख्यमंत्री यादव ने यह विचार उच्च शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित राष्ट्रीय कार्यशाला मध्यप्रदेश@2047 'रोजगार आधारित शिक्षा-रुझान एवं नए अवसर' पर व्यक्त किए। यह कार्यशाला बुधवार को कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में आयोजित की गई थी।
राज्यपाल पटेल ने कहा कि यह कार्यशाला राष्ट्रीय रोजगार आधारित शिक्षा के नए अवसरों पर चर्चा करने का एक महत्वपूर्ण मंच है। उन्होंने कहा कि शिक्षा समाज की रीढ़ है और इसे समय के साथ अनुकूलित करने की आवश्यकता है। इसके माध्यम से हम व्यक्ति, समाज और राष्ट्र को सक्षम बना सकते हैं।
मुख्यमंत्री यादव ने कहा कि शिक्षा से व्यक्ति का समग्र विकास होता है। यह आयोजन बदलते समय में रोजगार आधारित शिक्षा और अवसरों के विकास के लिए महत्वपूर्ण है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर तीन बार मंथन हो चुका है, और अब इसे एक नई दिशा दी जा रही है।
मुख्यमंत्री यादव ने कहा कि सरदार वल्लभ भाई पटेल ने देश की जड़ों को मजबूत करने का कार्य किया। उन्होंने सोमनाथ मंदिर का जीर्णोद्धार किया, जिससे हम अपने इतिहास को समझ सकें।
मुख्यमंत्री यादव ने कहा कि आज दुनिया भारत के साथ जुड़ने के लिए उत्सुक है। आक्रांताओं ने हमारी शिक्षा के केंद्रों को नष्ट किया, लेकिन मध्य प्रदेश एक ऐसा राज्य है जो 64 कलाओं की शिक्षा का केंद्र है।