क्या बढ़ते वैश्विक तनावों के बीच सोने और चांदी की कीमतों ने रिकॉर्ड तोड़ा?

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क्या बढ़ते वैश्विक तनावों के बीच सोने और चांदी की कीमतों ने रिकॉर्ड तोड़ा?

सारांश

सोने और चांदी की कीमतों में बढ़ोतरी ने नए रिकॉर्ड को छू लिया है। अमेरिका और वेनेजुएला के बीच बढ़ते तनावों के कारण यह उछाल देखने को मिला है। जानें इसके पीछे के कारण और बाजार की स्थिति।

Key Takeaways

  • सोने की कीमतें: 1,39,286 रुपए प्रति 10 ग्राम
  • चांदी की कीमतें: 2,33,183 रुपए प्रति किलोग्राम
  • बढ़ते तनाव: अमेरिका और वेनेजुएला के बीच
  • ब्याज दरों में कटौती: अमेरिकी फेड की संभावनाएँ
  • सुरक्षित निवेश: मांग में वृद्धि

मुंबई, 26 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। भू-राजनीतिक तनावों और आगामी वर्ष में अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में कटौती की अपेक्षाओं के चलते, शुक्रवार को हफ्ते के अंतिम कारोबारी दिन, सोने और चांदी की कीमतों ने नए रिकॉर्ड स्तर पर पहुँच गईं।

एमसीएक्स पर फरवरी डिलीवरी का सोना 0.72 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 1,39,286 रुपए प्रति 10 ग्राम के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया, जबकि एमसीएक्स सिल्वर का मार्च वायदा 4 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि के साथ 2,33,183 रुपए प्रति किलोग्राम पर पहुंच गया। यह दोनों मूल्यवान धातुओं का अब तक का उच्चतम स्तर है।

लेख लिखते समय सोने का भाव 1,123 रुपए यानी 0.81 प्रतिशत की बढ़त के साथ 1,39,220 रुपए प्रति 10 ग्राम पर कारोबार कर रहा था, वहीं चांदी का भाव 9,210 रुपए यानी 4.12 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 2,33,000 रुपए प्रति किलोग्राम पर था।

सोने की कीमतों में इस उछाल का मुख्य कारण अमेरिका और वेनेजुएला के बीच बढ़ते तनाव हैं। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी सोने की कीमतें बढ़ी हैं, जहां स्पॉट गोल्ड 0.5 प्रतिशत बढ़कर 4,501.44 डॉलर प्रति औंस हो गया। इससे पहले, सोना 4,530.60 डॉलर प्रति औंस तक पहुँच चुका था।

व्यापारी आशा कर रहे हैं कि 2026 में अमेरिकी फेडरल रिजर्व ब्याज दर में दो बार 0.25 प्रतिशत की कटौती करेगा, क्योंकि महंगाई में कमी आ रही है और श्रम बाजार की स्थिति नरम हो रही है। इसके साथ ही, बढ़ते भू-राजनीतिक तनावों के कारण सुरक्षित निवेश की मांग में भी वृद्धि हुई है।

अमेरिका और वेनेजुएला के बीच बढ़ते तनाव, रूस-यूक्रेन युद्ध और नाइजीरिया में आईएसआईएस के खिलाफ अमेरिकी सेना की कार्रवाई से भू-राजनीतिक तनाव बढ़े हैं। इस महीने, अमेरिकी कोस्ट गार्ड ने वेनेजुएला के कच्चे तेल से भरे एक सुपरटैंकर को कब्जे में लिया और वेनेजुएला से संबंधित दो अन्य जहाजों को इंटरसेप्ट करने का प्रयास किया, जिससे तनाव और बढ़ गया।

मेहता इक्विटी लिमिटेड के कमोडिटी उपाध्यक्ष राहुल कालंत्री ने कहा कि केंद्रीय बैंकों द्वारा खरीदारी और लगातार ईटीएफ में पूंजी प्रवाह सोने की कीमतों को समर्थन दे रहे हैं। सोने में 1,36,550 से 1,35,710 रुपए के बीच सपोर्ट है, जबकि 1,38,850 से 1,39,670 रुपए के बीच रेजिस्टेंस है। वहीं, सिल्वर में 2,22,150 से 2,20,780 रुपए के बीच सपोर्ट है, तो 2,25,810 से 2,26,970 रुपए के बीच रेजिस्टेंस है।

विशेषज्ञों के अनुसार, केंद्रीय बैंकों की आक्रामक खरीदारी, अमेरिकी फेड द्वारा ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद, अमेरिकी टैरिफ के प्रभावों को लेकर चिंता, भू-राजनीतिक तनाव और गोल्ड व सिल्वर ईटीएफ में मजबूत निवेश ने इस वर्ष सोने और चांदी की कीमतों को बढ़ावा दिया है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि वर्तमान वैश्विक घटनाओं का हमारे वित्तीय बाजारों पर गहरा प्रभाव पड़ रहा है। राजनीतिक तनाव और आर्थिक नीतियों के बदलाव से सोने और चांदी की कीमतों में उतार-चढ़ाव हो रहा है। यह समय निवेशकों के लिए सतर्क रहने का है।

NationPress
26/12/2025

Frequently Asked Questions

सोने की कीमतों में वृद्धि का मुख्य कारण क्या है?
सोने की कीमतों में वृद्धि का मुख्य कारण अमेरिका और वेनेजुएला के बीच बढ़ते तनाव और अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद है।
चांदी की कीमतें कितनी बढ़ गई हैं?
चांदी की कीमतें 4 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 2,33,183 रुपए प्रति किलोग्राम पर पहुँच गई हैं।
क्या सोने की कीमतें और बढ़ सकती हैं?
हां, वर्तमान भू-राजनीतिक तनाव और सुरक्षित निवेश की बढ़ती मांग के कारण सोने की कीमतें और बढ़ सकती हैं।
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